जानलेवा हुई कोलकाता की भारी बारिश और बाढ़, 7 लोगों की मौत, स्कूलों को जल्दी दुर्गा पूजा की छुट्टी दी
भारी बारिश और बाढ़ के बाद राज्य सरकार ने राज्य संचालित स्कूलों और कॉलेजों को 24 सितंबर से बंद करने की घोषणा की।
पश्चिम बंगाल के कई जिलों में सोमवार रात (22 सितंबर) हुई भारी बारिश और मंगलवार (23 सितंबर) सुबह को हुए जलजमाव के चलते राज्य सरकार ने निर्धारित समय से दो दिन पहले ही दुर्गा पूजा की छुट्टियों की घोषणा कर दी। 23 सितंबर को शिक्षा मंत्री ने कहा कि सभी राज्य संचालित शैक्षणिक संस्थान 24 और 25 सितंबर को बंद रहेंगे। पूजा की छुट्टियां पहले 26 सितंबर से शुरू होनी थीं।
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की अपील
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने लोगों से अपनी सुरक्षा के लिए घरों में रहने की अपील की। समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक ममता बनर्जी ने एक बंगाली न्यूज चैनल से बातचीत में कहा,"मैंने ऐसी बारिश पहले कभी नहीं देखी। बादल फटने से जिन लोगों की जान गई है, उनके लिए मुझे बहुत दुख है। मैंने सुना है कि खुले या लापरवाही से पड़े तारों से करंट लगने के कारण 7–8 लोगों की मौत हो गई। यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है… उनके परिवारों को सीईएससी (CESC) की ओर से नौकरी दी जानी चाहिए। मैं यह साफ़ तौर पर कह रही हूँ। हम भी जो संभव होगा, वह मदद करेंगे।"
जलभराव वाली सड़कों से दूर रहने और बिजली के करंट से होने वाले हादसों से बचने के निर्देश के बाद शिक्षा मंत्री ब्रत्य बसु ने 24 और 25 सितंबर को छुट्टी घोषित की। बसु ने एक्स पर लिखा, “राज्य में अभूतपूर्व आपदा जैसी स्थिति बनी हुई है। वर्तमान परिस्थितियों में छात्रों को राहत देने और दुर्घटनाओं से बचाव के लिए मुख्यमंत्री की सलाह पर सभी शैक्षणिक संस्थानों को 24 और 25 सितंबर को बंद रखने का निर्णय लिया गया है।”
शिक्षक घर से काम करें
मंत्री ब्रत्य बसु ने सरकारी शैक्षणिक संस्थानों के सभी शिक्षकों और गैर-शिक्षण कर्मचारियों से अपील की कि वे जरूरी और अधूरे कार्यों को पूरा करने के लिए घर से ही काम करें। उन्होंने कहा, “चूंकि दुर्गा पूजा की छुट्टियां 26 सितंबर से निर्धारित हैं, इसलिए व्यावहारिक रूप से छुट्टियां कल (बुधवार) से ही शुरू हो जाएंगी। मैं सभी को शुभ पूजा की बधाई देता हूँ। इस आपदा में जिन नागरिकों ने अपनी जान गंवाई है, उनके परिजनों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएँ हैं।”
जनजीवन अस्त-व्यस्त
कोलकाता और आसपास के इलाकों में मंगलवार को जीवन पूरी तरह ठप हो गया। रातभर हुई भारी बारिश ने व्यापक जलजमाव पैदा कर दिया, जिससे यातायात, सार्वजनिक परिवहन और रोज़मर्रा की गतिविधियाँ पूरी तरह रुक गईं। भारी बारिश के कारण शहर में कम से कम सात लोगों की मौत करंट लगने से हो गई। शहर के कुछ हिस्सों में कुछ ही घंटों में 330 मिमी से ज्यादा बारिश हुई, जबकि शहर और उसके उपनगरों के अधिकांश हिस्सों में 250 मिमी से ज्यादा बारिश दर्ज की गई।