Black Money का पता लगाने के लिए टैक्स डिपार्टमेंट कर सकता है आपके सोशल मीडिया अकाउंट्स की जांच?
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Black Money का पता लगाने के लिए टैक्स डिपार्टमेंट कर सकता है आपके सोशल मीडिया अकाउंट्स की जांच?

सोशल मीडिया में ये दावा किया है कि 1 अप्रैल 2026 से आयकर विभाग को टैक्स चोरी रोकने के लिए आपके सोशल मीडिया, ई-मेल और अन्य डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुँच (Access) का ‘अधिकार’ मिल जाएगा.


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Income Tax News: 1 अप्रैल 2026 से इनकम टैक्स डिपार्टमेंट टैक्स की चोरी का पता लगाने के लिए आपके सोशल मीडिया अकाउंट्स, ई-मेल और दूसरे डिजिटल प्लेटफॉर्म्स जिसपर आप मौजूद हैं उसके एक्सेस का अधिकार मिल जाएगा? सोशल मीडिया में ऐसी जानकारी के साथ एक पोस्ट लगातार वायरल हो रहा है.

सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (X) पर @IndianTechGuide नाम से मौजूद एक अकाउंट ने अपने पोस्ट में ये दावा किया है कि 1 अप्रैल 2026 से आयकर विभाग को टैक्स चोरी रोकने के लिए आपके सोशल मीडिया, ई-मेल और अन्य डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुँच (Access) का ‘अधिकार’ मिल जाएगा. इस पोस्ट को लेकर पीआईबी ने फैक्ट चेक किया है. पीआईबी ने अपने फैक्ट चेक में इस पोस्ट में किए गए दावा को भ्रामक बताया है.

पीआईबी ने फैक्ट चेक करते हुए इनकम टैक्स एक्स 2025 की धारा 247 के प्रावधान केवल सर्च यानी तलाशी और सर्वे की कार्रवाई तक सीमित है. जब तक किसी टैक्सपेयर्स के खिलाफ बड़े पैमाने पर टैक्स चोरी के ठोस सबूतों के आधार पर औपचारिक सर्च ऑपरेशन नहीं चलाया जा रहा हो, तब तक इनकम टैक्स डिपार्टमेंट को उसकी निजी डिजिटल स्पेस तक पहुँच का कोई अधिकार नहीं है.

सरकार के सूचना विभाग ने बताया कि इन शक्तियों का इस्तेमाल सामान्य जानकारी जुटाने-प्रोसेस करने के लिए, या स्क्रूटनी असेसमेंट के मामलों में भी नहीं किया जा सकता है. ये प्रावधान खास तौर पर सर्च और सर्वे के दौरान ब्लैक मनी और बड़े पैमाने पर की गई टैक्स चोरी पर कार्रवाई के लिए बनाए गए हैं, न कि रोजमर्रा के कानून का पालन करने वाले आम नागरिकों के लिए बने हैं.

फैक्टचेक में बताया गया है कि सर्च और सर्वे के दौरान दस्तावेजों और सबूतों को ज़ब्त करने की अधिकार इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के पास 1961 के आयकर एक्ट में भी मौजूद है. ऐसे में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म में टैक्स डिपार्टमेंट के सोशल मीडिया, ई-मेल और अन्य डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुँच का दावा फेक न्यूज है.

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