आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ पर बीजेडी नेता अमर प्रसाद सत्पथी कहते हैं, "भारतीय लोकतंत्र ने कई चुनौतियों का सामना किया है। स्वतंत्रता के बाद के दौर में सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक 26 जून 1975 का दिन था। जिस दिन आपातकाल की घोषणा की गई थी।तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी लोगों की इच्छा के विरुद्ध सत्ता में बने रहना चाहती थीं और आपातकाल लगाया, जिसके लिए कई चीजें हुईं।

1975-77 में भारतीय लोकतंत्र का एक काला अध्याय बन गया था। उस दौरान मैं एक छात्र नेता और उत्कल विश्वविद्यालय छात्र संघ का महासचिव था। मुझे 17 महीने से अधिक समय तक हिरासत में रखा गया, पहले कटक जेल में, फिर पुरी जेल में। आपातकाल के दौरान, हमारा अनुभव बहुत भयानक था।

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