आज़ाद ज़िन्दगी जीना चाहती थी राधिका, घूमना चाहती थी विदेश
x

आज़ाद ज़िन्दगी जीना चाहती थी राधिका, घूमना चाहती थी विदेश

कोच के साथ हुई व्हाट्सएप चैट में ये खुलासा हुआ है कि राधिका आज़ाद जीवन जीना चाहती थी और विदेश में घूमना चाहती थी. ऐसा भी प्रतीत होता है कि वो घर पर कहीं न कहीं दबाव महसूस कर रही थी.


Tennis Player Radhika Yadav Murder Case : टेनिस खिलाड़ी राधिका यादव की पिता दीपक यादव द्वारा गोली मारकर हत्या किए जाने के बाद एक संवेदनशील खुलासा हुआ है। 25 वर्षीय राधिका, जो कथित तौर पर घर पर अत्यधिक पाबंदियों से घुटन महसूस कर रही थीं, "जीवन का आनंद लेने" और "कुछ समय के लिए आज़ादी के साथ जीवन जीने" की ख्वाइश रखती थी, जिसके लिए वो विदेश यात्रा करना चाहती थीं। ये खुलासा राधिका की वाट्सएप चैट के माध्यम से हुआ है, जो उसने अपने टेनिस कोच से की थी।

आज़ाद जीवन की चाह और विदेश जाने की इच्छा

राधिका और उनके टेनिस कोच अजय यादव के बीच हुई व्हाट्सएप चैट्स से राधिका की इच्छा का पता चलता है। इन संदेशों से खुलासा हुआ है कि राधिका अक्टूबर, नवंबर और दिसंबर जैसे महीनों के लिए घर से दूर रहना चाहती थीं। एक चैट में, राधिका ने अजय से कहा कि वह चीन जाने की बजाय दुबई या ऑस्ट्रेलिया जाना पसंद करेंगी, क्योंकि उन्हें चीन में खाने-पीने की दिक्कत होने की आशंका थी। उन्होंने लिखा, "ऑस्ट्रेलिया में मेरा परिवार है, और दुबई में आप हो।"

जब अजय ने एक वॉइस मैसेज में जवाब दिया, तो राधिका ने स्पष्ट रूप से अपनी इच्छा जाहिर की: "1-2 महीने। अक्टूबर, नवंबर, दिसंबर कुछ भी चलेगा, मुझे यहां से कुछ समय के लिए निकलना है।" एक अन्य संदेश में, उन्होंने स्वीकार किया कि परिवार से कोई समस्या नहीं थी, लेकिन "मुझे कुछ समय के लिए स्वतंत्र रूप से रहना है। मैं जीवन का आनंद लेना चाहती हूं, यहां काफी पाबंदियां हैं।"

पिता से असहमति और विवाद

हालांकि, राधिका की स्वतंत्रता की चाह ने उनके पिता से टकराव पैदा कर दिया। राधिका ने अजय को बताया कि जब उन्होंने अपने पिता से विदेश यात्रा के बारे में बात की, तो उन्होंने मना कर दिया। "मैंने पापा से बात की तो वह सब सुनकर मना कर रहे थे। कह रहे थे कि कोई फायदा नहीं है।"

कोच की प्रतिक्रिया और पारिवारिक संबंध

राधिका के एक अन्य कोच, अंकित पटेल ने बताया कि उन्हें पिता और बेटी के रिश्ते में कभी कोई असामान्य बात नहीं दिखी। उन्होंने कहा, "मैं उसे तब से जानता हूं जब वह 11-12 साल की थी। मैं उसके पिता को भी जानता था। मैंने उसकी प्रैक्टिस के दौरान कभी कुछ भी गलत नहीं पाया। उनके बीच अच्छा रिश्ता था। वह हमेशा उसका समर्थन करते थे और हमेशा उसके साथ यात्रा करते थे।" पटेल ने इस बात पर जोर दिया कि दीपक यादव अपनी बेटी पर काफी ध्यान देते थे, जिससे यह कहना मुश्किल है कि उन्हें खेल से कोई समस्या थी। उन्होंने भावुक होते हुए कहा, "कोई नहीं जानता कि किस समय क्या बदल सकता है।"

दुखद घटना और पुलिस कार्रवाई

ज्ञात रहे कि गुरुवार को गुरुग्राम के सेक्टर 57 स्थित सुशांत लोक इलाके में परिवार के दो मंजिला घर में दीपक यादव ने कथित तौर पर राधिका को बहुत करीब से गोली मार दी। इस जघन्य अपराध के बाद दीपक को शनिवार को एक शहर की अदालत में पेश किया गया, जिसने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया।

पुलिस ने पहले बताया था कि राधिका एक टेनिस अकादमी चलाती थी, जो पिता-पुत्री के बीच विवाद का कारण बन गई थी। पुलिस का दावा है कि पूछताछ में दीपक ने खुलासा किया था कि उसको अक्सर अपनी बेटी की कमाई पर जीने के लिए ताना मारा जाता था। पुलिस के अनुसार, दीपक आर्थिक रूप से संपन्न था और उसे संपत्तियों से अच्छी किराये की आय होती थी, इसलिए वे अपनी बेटी की कमाई पर निर्भर नहीं था। हालांकि, पिछले कुछ हफ्तों से उसे ताने मारे जाने के कारण डिप्रेशन था।

पुलिस ने पुष्टि की है कि दीपक यादव ने अपनी बेटी को गोली मारने की बात कबूल कर ली है।


Read More
Next Story