क्या दिल्ली ऐसे जीतेगी कांग्रेस, लोग करते रहे इंतजार नहीं आए राहुल गांधी
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क्या दिल्ली ऐसे जीतेगी कांग्रेस, लोग करते रहे इंतजार नहीं आए राहुल गांधी

दिल्ली चुनाव जीतने का दावा कांग्रेस कर रही है। लेकिन दिग्गज नेता जमीन से गायब नजर आ रहे हैं। बुधवार को कुछ वैसा ही हुआ जनता राहुल गांधी का घंटों तक इंतजार करती रही।


Delhi Election 2025: दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 में जीत का स्वाद कौन चखेगा उसका फैसला 8 फरवरी को होगा। लेकिन उससे पहले पांच फरवरी को सियासी दलों को चुनावी परीक्षा देनी है। आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) को यकीन है कि हैट्रिक लगाने का प्रसाद जनता देगी। वहीं बीजेपी को 27 साल का सूखा खत्म होने का इंतजार तो कांग्रेस के सामने खाता खोलने की चुनौती। कांग्रेस का दावा है कि इस दफा वो दमखम के साथ चुनावी मैदान में है। लेकिन क्या पार्टी के आलाकमान के मन में किसी तरह की दुविधा है। अगर बात राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की करें तो 13 जनवरी को उन्होंने सीलमपुर में एक चुनावी सभा की थी। उसके बाद 20 जनवरी को उन्हें पदयात्रा में शामिल होना था। लेकिन वो शामिल नहीं हुए। इसी तरह 22 जनवरी को उन्हें एक सभा को भी संबोधित करना था लेकिन वो नहीं आए।

नहीं आए राहुल अस्वस्थ होने का हवाला
दिल्ली के सदर विधानसभा क्षेत्र के शहजादा बाग में कांग्रेस नेता राहुल गांधी की एक झलक पाने के लिए भारी भीड़ जमा हुई थी। 22 जनवरी को शाम 4:30 बजे के आसपास इकट्ठा होना शुरू हुई भीड़ को सदर उम्मीदवार अनिल भारद्वाज सहित कांग्रेस नेताओं ने आश्वासन दिया कि राहुल जल्द ही उन्हें संबोधित करेंगे। घंटों बीत गए और लोग निराश होने लगे। नेताओं ने राहुल गांधी के आगमन पर शाम 6 बजे, 7 बजे और यहां तक ​​कि 7:30 बजे तक लगातार बताते रहे हैं कि वो कुछ ही देर में आने वाले हैं।

रात 8 बजे के तुरंत बाद, दिल्ली कांग्रेस प्रमुख देवेंद्र यादव (Delhi Congress President Rahul Gandhi) ने घोषणा की कि राहुल बिल्कुल भी नहीं आएंगे। उसकी वजह राहुल गांधी का अस्वस्थ होना बताया गया। जब भीड़ ने चिल्लाना और हूटिंग करना शुरू किया, यादव ने कहा कि राहुल ने सदर में मतदाताओं को एक संदेश भेजा है, जिसमें उनसे कांग्रेस को वोट देने की अपील की गई है।

दिलचस्प बात यह है कि पार्टी की दिल्ली इकाई ने आज दोपहर करीब 1:15 बजे सदर में सार्वजनिक बैठक की घोषणा की। शॉर्ट नोटिस के बावजूद, शाम 5 बजे तक कार्यक्रम स्थल पर भारी भीड़ जमा हो गई थी। इस ड्रामा को और बढ़ाते हुए, लगभग शाम 7 बजे तक, दिल्ली कांग्रेस के ट्विटर हैंडल और अन्य नेताओं ने भारी भीड़ का दावा करते हुए वीडियो और तस्वीरें पोस्ट करना जारी रखा और आश्वासन दिया कि राहुल जल्द ही उनके साथ शामिल होंगे। अफसोस, ऐसा नहीं हुआ।

पदयात्रा में भी नहीं शामिल हुए थे राहुल

यह पहली बार नहीं है जब राहुल ने कार्यक्रम को छोड़ा 20 जनवरी को, राहुल को नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र में पदयात्रा का नेतृत्व करना था, जहां कांग्रेस ने AAP संयोजक अरविंद केजरीवाल के खिलाफ संदीप दीक्षित को मैदान में उतारा था। हालांकि, बिना किसी स्पष्टीकरण के शॉर्ट नोटिस पर पदयात्रा को रद्द कर दिया गया। अगले दिन, राहुल ने कर्नाटक के बेलगाम में अपनी पार्टी की जय बापू, जय भीम, जय संविधान रैली को भी छोड़ दिया।

पिछले महीने, राहुल को दिल्ली में एक न्याय चौपाल को संबोधित करना था, जहां उन्हें विभिन्न क्षेत्रों के लोगों के साथ बातचीत करनी थी।दिल्ली कांग्रेस ने कहा कि कार्यक्रम रद्द कर दिया गया था लेकिन कोई कारण नहीं बताया गया था। 'अभी तक सिर्फ एक बैठक' इस चुनावी मौसम में राहुल गांधी ने दिल्ली में सिर्फ़ एक जनसभा की है, 13 जनवरी को सीलमपुर में, जहां उन्होंने दावा किया कि "अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) और नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) में कोई अंतर नहीं है।

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