आरक्षण पर कांग्रेस को अब देनी पड़ रही सफाई, क्या BJP को मिल गया मौका?
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आरक्षण पर कांग्रेस को अब देनी पड़ रही सफाई, क्या BJP को मिल गया मौका?

राहुल गांधी ने आरक्षण पर बयान अमेरिका में दिया असर भारत में दिख रहा है। मायावती के बाद अब गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस का असली चेहरा सामने आ चुका है।


Amit Shah On Caste Reservation: केंद्रीय गृह मंत्री और वरिष्ठ भाजपा नेता अमित शाह ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर आरक्षण पर उनकी टिप्पणी के लिए निशाना साधा और आरोप लगाया कि यह कांग्रेस पार्टी के "आरक्षण विरोधी" चेहरे को दर्शाता है। राष्ट्र विरोधी टिप्पणी करना राहुल की आदत बन गई है: शाह राहुल को कड़ा संदेश देते हुए शाह ने कहा कि जब तक भाजपा है, तब तक न तो कोई आरक्षण खत्म कर सकता है और न ही कोई देश की सुरक्षा से खिलवाड़ कर सकता है। शाह की यह टिप्पणी राहुल द्वारा अमेरिका के जॉर्जटाउन विश्वविद्यालय के छात्रों से यह कहने के बाद आई है कि कांग्रेस आरक्षण खत्म करने के बारे में तब सोचेगी जब "भारत एक निष्पक्ष जगह होगी", जबकि उन्होंने कहा कि अभी ऐसा नहीं है।

अमित शाह ने साधा निशाना
शाह ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, "देश को बांटने की साजिश करने वाली ताकतों के साथ खड़े होना और राष्ट्रविरोधी बयान देना राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी की आदत बन गई है। गृह मंत्री ने जोर देकर कहा कि चाहे वह जम्मू-कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के "राष्ट्रविरोधी और आरक्षण विरोधी एजेंडे" का समर्थन कर रही हो या विदेशी मंचों पर भारत विरोधी बयान दे रही हो, राहुल ने हमेशा देश की सुरक्षा को खतरा पहुंचाया है और भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। राहुल गांधी का बयान क्षेत्रवाद, धर्म और भाषाई मतभेदों के आधार पर दरार पैदा करने की कांग्रेस की राजनीति को उजागर करता है।

शाह ने पोस्ट में लिखा कि देश में आरक्षण खत्म करने की बात कहकर राहुल गांधी ने एक बार फिर कांग्रेस के आरक्षण विरोधी चेहरे को सामने ला दिया है। 'जब तक भाजपा है, तब तक कोई आरक्षण खत्म नहीं कर सकता' केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि लोकसभा में विपक्ष के नेता के मन में जो विचार थे, वे आखिरकार शब्दों के रूप में सामने आ ही गए। वो राहुल गांधी से कहना चाहते हैं कि जब तक भाजपा है, तब तक न तो कोई आरक्षण खत्म कर सकता है और न ही कोई देश की सुरक्षा से खिलवाड़ कर सकता है।

कांग्रेस को देनी पड़ी सफाई


सियासी हलचल पर नजर रखने वाले कहते हैं कि इसमें दो मत नहीं कि बीजेपी इसे मुद्दा बनाएगी। यहां देखने वाली बात ये होगी कितना धारदार हमला बीजेपी करती है और उसका जवाब कांग्रेस कैसे देती है। आखिरकार आम चुनाव के दौरान ही आरक्षण का बड़ा मुद्दा बन गया। सबसे पहले बात हरियाणा की करते हैं यहां करीब २१ फीसद एससी आबादी है। बीएसपी का गठबंधन इनेलो और जेजेपी का चंद्रशेखर रावण की पार्टी से है। कांग्रेस के रणनीतिकारों का आकलन है कि माहौल पूरी तरह से कांग्रेस के पक्ष में है। ऐसे में अगर एससी वोट का एक बड़ा वर्ग बीएसपी-इनेलो गठबंधन या जेजेपी-आजाद समाज पार्टी की तरफ जाता है तो नुकसान कांग्रेस का होना है।

बीएसपी और चंद्रशेखर रावण को कितना फायदा मिलेगा अलग बात है। अगर इस तरह की स्थिति बनती है तो बीजेपी के लिए राह आसान हो सकती है। इसके अलावा जब दो और बड़े राज्य महाराष्ट्र और झारखंड में चुनाव होगा तो जाहिर सी बात है कि बीजेपी इसे बड़ा मुद्दा बनाएगी। इसका अर्थ यह हुआ कि जिस तरह से आम चुनाव २०२४ के दौरान बीजेपी को बैकफुट पर आना पड़ा। कुछ उसी तरह की स्थिति से कांग्रेस भी दो चार हो सकती है।

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