
मोदी-मुइज़्ज़ु मुलाकात में चीन का जिक्र हुआ? जानिए विदेश सचिव ने क्या कहा
भारत और मालदीव के बीच इस उच्चस्तरीय बातचीत ने यह संकेत दिया है कि दोनों देश ना केवल क्षेत्रीय सुरक्षा को लेकर गंभीर हैं, बल्कि आर्थिक और रणनीतिक साझेदारी को भी नई ऊंचाइयों पर ले जाने को प्रतिबद्ध हैं.
India Maldives relations: भारत के विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज़्ज़ु ने साफ तौर पर बताया है कि उनकी सरकार सुरक्षा से जुड़े मामलों को बहुत अहम मानती है और भारत के साथ मिलकर काम करते रहने के लिए पूरी तरह तैयार है। यह बयान उस समय आया, जब उनसे पूछा गया कि क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति मुइज़्ज़ु के बीच हुई बातचीत में चीन का जिक्र हुआ.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन दिनों दो दिवसीय मालदीव दौरे पर हैं, जहां उन्होंने राष्ट्रपति मुहम्मद मुइज़्ज़ु के साथ व्यापार, रक्षा और समुद्री सुरक्षा सहित कई अहम मुद्दों पर बातचीत की. मिस्री ने कहा कि दोनों देशों की सुरक्षा एजेंसियों के बीच लगातार संवाद बना हुआ है और भारत किसी भी ऐसे मुद्दे पर मालदीव के साथ मिलकर काम करता रहेगा, जो क्षेत्रीय सुरक्षा को प्रभावित कर सकता है. उन्होंने कहा कि भारत और मालदीव की सुरक्षा एजेंसियों के बीच उच्च स्तर पर लगातार संपर्क बना रहता है। यह एक महत्वपूर्ण विषय है और हम साझा सुरक्षा हितों की रक्षा के लिए मिलकर कार्य करते रहेंगे.
आर्थिक सहयोग को लेकर बड़ी घोषणा
विदेश सचिव ने यह भी बताया कि दोनों नेताओं की बातचीत के बाद एक प्रमुख समझौता हुआ है, जिसके तहत मालदीव का भारत को हर वर्ष चुकाया जाने वाला लोन 40% तक कम हो जाएगा. प्रधानमंत्री मोदी ने प्रेस वार्ता में कहा कि हमारे रिश्तों की जड़ें इतिहास से भी पुरानी हैं और जितना गहरा समुद्र है, उतनी ही गहराई हमारे संबंधों में है। हमारे लिए हमेशा 'दोस्ती पहले' है.
भारत ने मालदीव को ₹4,850 करोड़ की लाइन ऑफ क्रेडिट की घोषणा की है और यह भी कहा कि जल्द ही एक मुक्त व्यापार समझौते (Free Trade Agreement) को अंतिम रूप दिया जाएगा. प्रधानमंत्री मोदी ने यह भी कहा कि भारत और मालदीव की मित्रता किसी भी परिस्थिति में "उज्ज्वल और स्पष्ट" बनी रहेगी.