क्या आपको बीमार कर रहा है रेलवे का कंबल, सुविधा या सेहत से खिलवाड़?
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क्या आपको बीमार कर रहा है रेलवे का कंबल, सुविधा या सेहत से खिलवाड़?

एक आरटीआई के जवाब में ये बताया गया है कि एसी कोच में यात्रियों को रात्रि के समय दिए जाने वाले कम्बल महीने में एक बार धुलते हैं.


AC Rail Coaches And Blankets : अगर आप भी रेल में सफ़र करते हैं और एसी कोच में लम्बी यात्रा करते हैं तो ये खबर आपके ध्यान देने लायक है. दरअसल एक आरटीआई के जवाब में ये खुलासा हुआ है कि रेल के एसी कोच में यात्रियों को दिए जाने वाले कम्बल महीने में 1 बार ही धुलते हैं. जबकि इस एक महीने के भीतर कितने ही लोग रेल की यात्रा कर चुके होते हैं.


सफ़ेद बेडशीट रोज़ धुलती ही जबकि कम्बल महीने में एक बार
आरटी आई में ये सवाल पूछा गया कि एसी कोच में यात्रियों को रात के समय दी जाने वाली बेडशीट और कम्बल की साफ़ सफाई कैसे होती है. इस सवाल के जवाब में उत्तर दिया गया कि सफ़ेद बेडशीट को प्रतिदिन इस्तेमाल के बाद धोया जाता है जबकि कम्बल को महीने में कम से कम एक बार जरुर धोया जाता है. हालाँकि कोशिश रहती है कि हर 15 दिन में कम्बल को धोया जा सके. उसके लिए उपलब्धता और लॉजिस्टिक व्यवस्था दोनों पर निर्भरता रहती है.

इस परिस्थितियों में दो बार धोया जाता है कम्बल
रिपोर्ट में ये दावा किया है कि ट्रेन के हाउस कीपिंग स्टाफ के हवाले से बताया गया है कि कम्बल सिर्फ उसी परिस्थिति की दो बार धुलता है जब या तो कम्बल पर दाग धब्बा लगा हो या फिर उसमें से दुर्गन्ध आ रही हो.

यात्रियों से शुल्क किया जाता है वसूल
आरटीआई में ये सवाल भी पूछा गया कि एसी कोच में रात्रि के समय मिलने वाले कम्बल और बेडशीट के लिए क्या कोई शुल्क भी लिया जाता है तो उसके जवाब में कहा गया कि इसका शुल्क वसूला जाता है तो टिकट के शुल्क में ही शामिल होता है. इतना ही नहीं दुरंतो और गरीब रथ में जो यात्री ये लेना चाहते हैं, उसके लिए उनसे अलग से शुल्क वसूला जाता है.


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