'भगवा रंग से बचें; न लगाएं तिलक', कोलकाता इस्कॉन ने बांग्लादेश के लिए जारी की एडवायजरी
इस्कॉन कोलकाता ने कहा कि वे पुजारियों और संप्रदाय के सदस्यों को सलाह दे रहे हैं कि वे मंदिरों और घरों के अंदर अपने धर्म का पालन करें.
Bangladesh Hindu: भगवा रंग से बचें, तुलसी की माला छिपाएं, तिलक मिटाएं और अपना सिर ढंकें. यह सलाह इस्कॉन कोलकाता ने बांग्लादेश में अपने सहयोगियों और अनुयायियों को दी है, ताकि पड़ोसी देश में मौजूदा अशांति की स्थिति में संघर्ष से बचा जा सके. बता दें कि बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों और इस्कॉन पुजारियों के खिलाफ हिंसा की घटनाएं बढ़ रही हैं.
इस्कॉन कोलकाता के उपाध्यक्ष राधारमण दास ने कहा कि वे पुजारियों और संप्रदाय के सदस्यों को सलाह दे रहे हैं कि वे मंदिरों और घरों के अंदर अपने धर्म का पालन करें. लेकिन बाहर निकलते समय अत्यधिक सावधानी बरतें. उन्होंने कहा कि मैं सभी पुजारियों और सदस्यों को सलाह दे रहा हूं कि संकट की इस घड़ी में, उन्हें खुद को बचाने और संघर्ष से बचने के लिए बहुत सावधान रहना चाहिए. मैंने सुझाव दिया है कि वे भगवा कपड़े पहनने और माथे पर तिलक लगाने से बचें.
उन्होंने कहा कि अगर उन्हें भगवा धागे पहनने की जरूरत महसूस होती है तो उन्हें उन्हें इस तरह से पहनना चाहिए कि वे कपड़ों के अंदर छिपे रहे और गर्दन के चारों ओर दिखाई न दें. अगर संभव हो तो उन्हें अपना सिर भी ढंकना चाहिए. उन्हें हर संभव उपाय करना चाहिए, जिससे वे पुजारियों की तरह न दिखें.
दास ने कहा कि पिछले सप्ताह कई पुजारियों और इस्कॉन सदस्यों को कथित तौर पर सार्वजनिक रूप से धमकाए जाने और उन पर हमला किए जाने के बाद उन्होंने सलाह जारी की थी. लगभग 63 इस्कॉन पुजारियों - सभी भगवा पहने बांग्लादेशी नागरिक को बांग्लादेश के इमिग्रगेशन डिपार्टमेंट ने शनिवार और रविवार के बीच भारत में प्रवेश करने से रोक दिया. जबकि कई अन्य को जाने दिया गया. दास ने कहा कि समय की मांग है कि सुरक्षित रहें.
बता दें कि बांग्लादेश में हिंदू नेता और इस्कॉन सदस्य चिन्मय कृष्ण दास की देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तारी के बाद से इस्कॉन पुजारियों पर हमले हो रहे हैं. उनके दो जूनियर जो उन्हें दवा देने गए थे, उन्हें भी गिरफ्तार कर लिया गया. दास के अनुसार, चिन्मय के सचिव भी फोन पर उपलब्ध नहीं हैं. मैं मामले के घटनाक्रम और पूरी स्थिति के बारे में जानकारी लेने के लिए उनके सचिव से बात करता था. लेकिन पिछले कुछ दिनों से वह उपलब्ध नहीं हैं.
दास ने कहा कि उन्होंने कई हिंदू वकीलों के साथ मारपीट और धमकी दिए जाने की खबरें भी सुनी हैं, जो मंगलवार को अदालत में उनका प्रतिनिधित्व करने वाले थे. दास ने कहा कि मुख्य वकील जो उनका प्रतिनिधित्व करने वाले थे, एक हमले में गंभीर रूप से घायल हो गए हैं.