ममता बनर्जी के बयान से इंडिया गठबंधन में खलबली, सपा ने बढ़ाई कांग्रेस की टेंशन
x

ममता बनर्जी के बयान से इंडिया गठबंधन में खलबली, सपा ने बढ़ाई कांग्रेस की टेंशन

जहाँ ममता बनर्जी ने इंडिया गठबंधन की बागडोर सँभालने की बात कही है तो वहीँ सपा ने इसका समर्थन किया है, जिसकी वजह से कांग्रेस टेंशन में आ गयी है और इसे ममता बनर्जी की निजी राय बताया है।


INDIA Block Mamata Banerjee : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की प्रमुख ममता बनर्जी द्वारा विपक्षी गठबंधन इंडिया ब्लॉक के नेतृत्व और समन्वय को लेकर की गई टिप्पणी ने राजनीतिक गलियारों में हलचल पैदा कर दी है। दरअसल ममता ने हाल ही में एक समाचार चैनल से बातचीत करते हुए नेतृत्व और प्रबंधन में खामियों पर सवाल उठाए। जिसके बाद इंडिया ब्लाक के तमाम घटकों के बीच नेतृत्व को लेकर खलबली मच गयी, ख़ासतौर से कांग्रेस खेमे में, क्योंकि समाजवादी पार्टी ने ममता का समर्थन कर दिया।


ममता का बयान: नेतृत्व और समन्वय पर नाराज़गी
ममता बनर्जी ने कहा, "मैंने इंडिया गठबंधन बनाया था, लेकिन इसे मैनेज करना अब नेतृत्व करने वालों की जिम्मेदारी है। अगर वे इसे सही तरीके से नहीं चला सकते, तो मैं क्या कर सकती हूं?" उन्होंने आगे कहा कि यदि उन्हें मौका दिया जाए, तो वह इस गठबंधन को बेहतर ढंग से प्रबंधित कर सकती हैं। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि वह बंगाल से बाहर नहीं जाना चाहतीं, लेकिन वहीं से गठबंधन का संचालन कर सकती हैं।

ममता बनर्जी की नेतृत्व की क्षमता पर जोर
ममता की यह टिप्पणी उनके राजनीतिक अनुभव और भाजपा के खिलाफ उनकी सख्त छवि को फिर से सामने लाती है। पश्चिम बंगाल में टीएमसी का वर्चस्व और भाजपा के खिलाफ हालिया जीत ने ममता को गठबंधन में एक मजबूत नेता के रूप में उभारा है। हालांकि, ममता की इस टिप्पणी के बाद गठबंधन के भीतर नेतृत्व को लेकर सवाल खड़े हो गए हैं।

टीएमसी की सफाई: दिल्ली की कुर्सी में दिलचस्पी नहीं
ममता बनर्जी की टिप्पणी पर उठे विवाद के बाद टीएमसी प्रवक्ता कुणाल घोष ने सफाई देते हुए कहा, "ममता बनर्जी ने व्यक्तिगत महत्वाकांक्षाओं की बात नहीं की। उन्होंने कहा कि इंडिया गठबंधन भाजपा के खिलाफ एक आवश्यक मोर्चा है। उनकी प्राथमिकता पश्चिम बंगाल है, और उन्हें दिल्ली की कुर्सी में कोई दिलचस्पी नहीं है।"

गठबंधन के नेताओं की प्रतिक्रियाएं
ममता बनर्जी की टिप्पणी पर इंडिया गठबंधन में शामिल विभिन्न दलों ने अलग-अलग प्रतिक्रियाएं दी हैं:

1. कांग्रेस का सतर्क रुख:
कांग्रेस नेता टीएस सिंहदेव ने कहा, "यह स्वाभाविक है कि गठबंधन में सभी लोग मिलकर फैसले करेंगे। ममता बनर्जी की अपनी राय है, और इस पर चर्चा जरूरी है।" कांग्रेस के राशिद अल्वी ने नेतृत्व को लेकर सामूहिक निर्णय पर जोर देते हुए कहा, "इस तरह के फैसले व्यक्तिगत महत्वाकांक्षाओं पर आधारित नहीं होते। गठबंधन में सभी दलों के बीच सहमति जरूरी है।"


2. सीपीआई (एम) का बयान:
सीपीआई (एम) नेता डी. राजा ने कहा, "मुझे नहीं पता कि ममता बनर्जी का क्या मतलब था। लेकिन गठबंधन का उद्देश्य भाजपा को हटाना है। सभी को मिलकर काम करने की जरूरत है।"

3. समाजवादी पार्टी का समर्थन:
समाजवादी पार्टी के नेता उदयवीर सिंह ने ममता का समर्थन करते हुए कहा, "ममता बनर्जी एक अनुभवी और सक्षम नेता हैं। अगर इंडिया ब्लॉक उनका नेतृत्व स्वीकार करता है, तो हम उसका समर्थन करेंगे।"

गठबंधन के भविष्य पर सवाल
ममता बनर्जी की टिप्पणी ने इंडिया गठबंधन के भीतर नेतृत्व और समन्वय पर मौजूद मतभेदों को उजागर कर दिया है। गठबंधन में कांग्रेस, टीएमसी, सीपीआई (एम), और समाजवादी पार्टी समेत कई दल शामिल हैं, लेकिन भाजपा के खिलाफ एकजुट होने के बावजूद आंतरिक असहमति इसकी सफलता में बाधा बन सकती है।
हालाँकि ममता बनर्जी ने बार-बार कहा है कि उनकी प्राथमिकता पश्चिम बंगाल है। लेकिन उनकी टिप्पणी ने यह सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या वह गठबंधन का नेतृत्व संभालने के लिए तैयार हैं। टीएमसी के कुछ नेताओं ने भी हाल ही में कहा है कि अन्य दलों को ममता को नेता मानना चाहिए।


Read More
Next Story