जानें कौन हैं सांसद प्रताप सारंगी और मुकेश राजपूत? जो संसद के धक्का-मुक्की में हुए घायल
MP Pratap Sarangi and Mukesh Rajput: भाजपा के अनुसार, राहुल ने मुकेश राजपूत को धक्का दिया, जो प्रताप चंद्र सारंगी पर गिर गए. जिससे दोनों सांसद घायल हो गए.
Parliament scuffle: संसद में गुरुवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की टिप्पणी से उपजा विवाद काफी बढ़ गया. गतिरोध इस स्तर तक पहुंच गया कि प्रदर्शन के दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के सांसदों के बीच धक्का- मुक्की हो गई. इसके बाद दोनों पक्षों ने एक दूसरे पर चोट पहुंचाने का आरोप लगाया. इस बीच बीजेपी (BJP) के दो सांसदों को अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा. इतना नहीं नहीं भाजपा ने लोकसभा के नेता राहुल गांधी के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. वहीं, कांग्रेस (Congress) ने भी भाजपा (BJP) नेताओं के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई.
संसद में क्या हुआ?
जब विपक्षी इंडिया ब्लॉक के सांसद प्रतिदिन आधे घंटे के लिए संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन कर रहे थे. बीजेपी (BJP) ने भी गुरुवार को विपक्ष की शाह से माफी मांगने या उनके इस्तीफे की मांग के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन करने का फैसला किया. अंबेडकर से जुड़े नीले रंग के कपड़े पहने इंडिया ब्लॉक के सांसदों ने संसद परिसर में अंबेडकर की प्रतिमा के सामने विरोध प्रदर्शन के साथ दिन की शुरुआत की. उनके हाथों में “मैं भी अंबेडकर”, “जय भीम” और “अमित शाह माफ़ी मांगो” लिखे पोस्टर थे.
इसके बाद, उन्होंने संसद परिसर में विरोध मार्च निकाला और यहीं पर उनका आमना-सामना भाजपा के नेतृत्व वाले एनडीए सांसदों से हुआ. वे भी तख्तियां लेकर नारे लगा रहे थे और मांग कर रहे थे कि कांग्रेस “अंबेडकर का अपमान” करने के लिए माफी मांगे. जब दोनों पक्ष संसद के मकर द्वार के सामने एकत्र हुए तो उन्होंने एक-दूसरे को मात देने के स्पष्ट प्रयास में जोरदार नारेबाजी की.
हाथापाई शुरू
लेकिन तब हंगामा मच गया, जब इंडिया ब्लॉक के सदस्यों ने कथित तौर पर मकर द्वार की सीढ़ियों के एक तरफ खाली छोड़ी गई जगह का इस्तेमाल करने के बजाय विरोध कर रहे बीजेपी सांसदों को चीरते हुए संसद में प्रवेश करने पर जोर दिया. हालांकि, बाद में कांग्रेस (Congress) सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने दावा किया कि उनके लिए सदन में प्रवेश करने के लिए कोई जगह नहीं थी.
भाजपा के अनुसार, संसद में प्रवेश करने की कोशिश करते समय राहुल (Rahul Gandhi) ने उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद निर्वाचन क्षेत्र से भाजपा सांसद मुकेश राजपूत को धक्का दिया, जो ओडिशा के बालासोर के सांसद प्रताप चंद्र सारंगी पर गिर पड़े. जिससे दोनों घायल हो गए. राहुल (Rahul Gandhi) ने आरोप का जवाब देते हुए कहा कि "उन्होंने मुझे धक्का दिया" और सारंगी पर एक सरसरी नज़र डालने के बाद चले गए, जिन्हें साथी भाजपा सदस्यों ने संभाला. राहुल ने बाद में संसद परिसर में संवाददाताओं से कहा कि मैं संसद में प्रवेश करने की कोशिश कर रहा था और भाजपा सांसद मुझे रोक रहे थे, धक्का दे रहे थे और धमकी दे रहे थे.
दावे और प्रतिदावे
दूसरी ओर, कांग्रेस (Congress) अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को भी कथित तौर पर भाजपा सांसदों ने धक्का दिया. वे अपना संतुलन खो बैठे और कथित तौर पर गिर पड़े, जिससे उनके घुटनों में चोट लग गई, जिनका पहले ही ऑपरेशन हो चुका है. उन्होंने भाजपा (BJP) सांसदों के कथित अनियंत्रित आचरण के खिलाफ लोकसभा अध्यक्ष से शिकायत दर्ज कराई. इसके बाद दोनों पक्षों ने एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोपों की झड़ी लगा दी और दोनों ने ही एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाने का आरोप लगाया. जहां भाजपा ने राहुल के खिलाफ “शारीरिक हमले” के लिए पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. वहीं कांग्रेस सांसदों ने खड़गे के साथ “दुर्व्यवहार” को लेकर भाजपा (BJP) नेताओं के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई.
नागालैंड से भाजपा (BJP) सांसद फांगनोन कोन्याक ने भी राहुल (Rahul Gandhi) के खिलाफ राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ के समक्ष औपचारिक शिकायत दर्ज कराई और आरोप लगाया कि प्रदर्शन के दौरान राहुल ने उन पर हमला किया और उन्हें धमकाया. संसद के मकर द्वार के सामने जब दोनों विरोधी पक्ष आमने-सामने हुए तो उन्होंने एक-दूसरे को मात देने के लिए जोरदार नारेबाजी की.
अस्पताल पहुंचे सांसद
झड़प के दौरान घायल हुए दो भाजपा (BJP) सांसदों मुकेश राजपूत और प्रताप चंद्र सारंगी को दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल ले जाया गया. जहां दोनों का फिलहाल आईसीयू में इलाज चल रहा है. 69 वर्षीय सारंगी के माथे के बाएं कनपटी पर चोटें आई हैं. केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अपने साथी मंत्री प्रहलाद जोशी के साथ अस्पताल में सारंगी से मुलाकात की और संवाददाताओं को बताया कि खून रोकने के लिए सारंगी को कुछ टांके लगाए गए हैं. मुकेश राजपूत के सिर में भी चोट लगी है और कथित तौर पर हाई ब्लड प्रेशर के कारण वह बेहोश हो गए. अस्पताल के प्रवक्ता के अनुसार, उनकी सीटी स्कैन जैसी जांच की जा रही है.
प्रताप चंद्र सारंगी
बालासोर के सांसद सारंगी को 1999 के स्टेंस हत्याकांड में उनकी कथित संलिप्तता के लिए याद किया जाता है. जिसमें ऑस्ट्रेलियाई ईसाई मिशनरी ग्राहम स्टेंस और उनके दो नाबालिग बच्चों फिलिप और टिमोथी को ओडिशा में दक्षिणपंथी संगठन बजरंग दल ने कथित तौर पर उनकी गाड़ी में जिंदा जला दिया था. सारंगी उस समय बजरंग दल की राज्य इकाई के प्रमुख थे. साल 2003 में निचली अदालत ने सारंगी, दारा सिंह और बजरंग दल के 10 अन्य कार्यकर्ताओं को तिहरे हत्याकांड का दोषी ठहराया था. सिंह को मौत की सज़ा सुनाई गई. जबकि सारंगी समेत बाकी लोगों को आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई गई. हालांकि, दो साल बाद ओडिशा हाई कोर्ट ने सिंह की मौत की सज़ा को कम कर दिया और सबूतों के अभाव में अन्य 11 को रिहा कर दिया. साल 2002 में ओडिशा विधानसभा पर हमले के सिलसिले में भी सारंगी को गिरफ्तार किया गया था.
बालासोर के फकीर मोहन कॉलेज से स्नातक की डिग्री प्राप्त करने वाले सारंगी ने राजनीति में आने से पहले बालासोर के नीलगिरी कॉलेज में हेड क्लर्क के रूप में काम किया था. बताया जाता है कि उनका राजनीतिक जीवन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के जिला-स्तरीय स्वयंसेवक के रूप में शुरू हुआ था. उन्होंने बजरंग दल के अलावा विश्व हिंदू परिषद (वीएचपी) के लिए भी काम किया. सारंगी 2004 से 2014 तक लगातार दो बार नीलगिरी निर्वाचन क्षेत्र से विधायक रह चुके हैं. वे 2019 से बालासोर के सांसद हैं. 2019 से 2021 तक वे सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा पशुपालन, डेयरी और मत्स्य पालन राज्य मंत्री रहे.
मुकेश राजपूत
फर्रुखाबाद से तीन बार सांसद रहे राजपूत (55) उत्तर प्रदेश के प्रमुख लोध नेताओं में से एक हैं और उन्हें पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह का करीबी माना जाता है. राजपूत 2000 से 2012 के बीच दो बार फर्रुखाबाद के जिला पंचायत अध्यक्ष रह चुके हैं. साल 2014 में उन्होंने मौजूदा सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद को हराकर जीत हासिल की थी. उन्होंने फर्रुखाबाद के आरपी डिग्री कॉलेज से बीएससी की डिग्री हासिल की है. उनके चुनावी हलफनामे के अनुसार, उनके खिलाफ कोई आपराधिक मामला नहीं है और उनके पास 1.6 करोड़ रुपये की चल संपत्ति और 7.8 करोड़ रुपये की अचल संपत्ति है.