महंगाई का मुद्दा अजीब विपक्ष में आते बदलते हैं सुर, राहुल बोल से समझिए
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महंगाई का मुद्दा अजीब विपक्ष में आते बदलते हैं सुर, राहुल बोल से समझिए

Inflation: महंगाई का मुद्दा अजीब है। सरकार में होने पर सब कुछ चंगा सी।लेकिन विपक्ष में आने पर आसमान छूती महंगाई। इस विषय पर राहुल गांधी ने नरेंद्र मोदी को घेरा।


Rahul Gandhi on Inflation: लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने मंगलवार को कहा कि लोग बढ़ती महंगाई से जूझ रहे हैं और रोजमर्रा की जरूरतों की छोटी-छोटी चीजों पर समझौता करने को मजबूर हैं, जबकि सरकार कुंभकरण की नींद सो रही है। गांधी ने अपने सोशल मीडिया हैंडल पर हाल ही में यहां गिरि नगर की एक सब्जी मंडी के दौरे और खाद्य पदार्थों की बढ़ती कीमतों के कारण अपनी व्यथा सुनाने वाली गृहणियों के साथ बातचीत का एक वीडियो साझा किया। गांधी ने वीडियो के साथ अपनी पोस्ट में कहा, "कुछ दिन पहले, मैं एक स्थानीय सब्जी मंडी में गया था और ग्राहकों के साथ खरीदारी करते हुए, मैंने विक्रेताओं से बात की ताकि यह जान सकूं कि आम लोगों का बजट कैसे बिगड़ रहा है और कैसे महंगाई ने सभी को परेशान कर रखा है।



पूर्व कांग्रेस प्रमुख (Rahul Gandhi Ex Congress Chief) ने अपनी पोस्ट में कहा, लोग बढ़ती कीमतों से जूझ रहे हैं और रोजमर्रा की जरूरतों की छोटी-छोटी चीजों पर समझौता करने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा, "हमने लहसुन, मटर, मशरूम और अन्य सब्जियों की कीमतों पर चर्चा की और लोगों के वास्तविक अनुभव सुने। कैसे 400 रुपये प्रति किलो लहसुन (Garlic Price) और 120 रुपये प्रति किलो मटर (Peas price) ने सभी के बजट को हिला दिया है।" उन्होंने कहा कि लोग क्या खाएंगे और क्या बचाएंगे। चाय पर बात करते हुए हमने गृहणियों के जीवन की समस्याओं को करीब से समझा - कैसे आय स्थिर रही, महंगाई बेकाबू होती रही। कैसे बचत करना असंभव हो गया और कैसे सिर्फ खाने के खर्च के कारण 10 रुपये का रिक्शा किराया भी जुटाना मुश्किल हो गया है।

उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि अगर वे भी महंगाई का असर महसूस कर रहे हैं तो अपने अनुभव उनके साथ साझा करें। उन्होंने कहा, "हमें बताएं कि आप इस समस्या से कैसे जूझ रहे हैं - आप बाजार की स्थिति जानते हैं, आप भी अपने निजी अनुभव हमारे साथ साझा करें। एक्स पर एक पोस्ट में गांधी ने कहा, "लहसुन कभी 40 रुपये का था, आज 400 रुपये का है! बढ़ती महंगाई ने आम आदमी की रसोई का बजट बिगाड़ दिया है - सरकार (Narendra Modi Government) कुंभकरण की नींद सो रही है! पांच मिनट से अधिक के वीडियो में गांधी कुछ गृहणियों के साथ सब्जी खरीदते और विक्रेताओं से मोलभाव करते नजर आ रहे हैं। गृहिणियों ने गांधी से कहा कि उन्हें अपनी खाने की आदतों में कटौती करनी पड़ रही है, क्योंकि वे पहले जितनी सब्जियां खरीदती थीं, उतनी अब नहीं खरीद पा रही हैं।

उन्होंने यह भी बताया कि मजदूरी स्थिर बनी हुई है, लेकिन कीमतें तेजी से बढ़ी हैं।कांग्रेस ने सोमवार को खाद्य वस्तुओं की बढ़ती कीमतों को लेकर मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि बुलेट ट्रेन (Bullet Train)तो नहीं आई, लेकिन बुलेट ट्रेन की गति से भी तेजी से बढ़ती महंगाई ने आम आदमी की कमर तोड़ दी है।कांग्रेस महासचिव और संचार प्रभारी जयराम रमेश ने कहा था कि लोग जवाब चाहते हैं, जुमलेबाजी नहीं।

उन्होंने एक्स पर एक मीडिया रिपोर्ट साझा की थी, जिसमें दावा किया गया था कि रोजमर्रा की जरूरत की वस्तुओं की कीमतें दिन-प्रतिदिन बढ़ रही हैं और पिछले एक साल में आटा, तेल, मसाले और सूखे मेवों की कीमतों में डेढ़ से दो गुना तक की वृद्धि हुई है।रमेश (Jairam Ramesh) ने एक्स पर लिखे अपने पोस्ट में कहा था, "मोदी सरकार (Modi Government Bullet Train) द्वारा घोषित बुलेट ट्रेन तो नहीं आई, लेकिन बुलेट ट्रेन की गति से भी अधिक तेजी से बढ़ती महंगाई ने आम आदमी की कमर तोड़ दी है।" कांग्रेस अर्थव्यवस्था को संभालने के तरीके को लेकर सरकार पर हमला कर रही है और बढ़ती बेरोजगारी और महंगाई (Unemployment Inflation) पर चिंता जता रही है।

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