अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन की नई चाल, भारत ने सीमा पर दिया जवाब
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Arunachal Pradesh CM Pema Khandu unveiled a statue of Swami Vivekananda

अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन की नई चाल, भारत ने सीमा पर दिया जवाब

बीजिंग का यह कदम भारत द्वारा अरुणाचल प्रदेश पर अपनी संप्रभुता की पुष्टि करने की हालिया पहल के बीच आया है, जिसमें चीन की नजर वाले स्थानों को बढ़ावा दिया गया है।


Arunachal Pradesh News: चीन ने एक बार फिर अरुणाचल प्रदेश के 27 स्थानों को नए नाम देकर अपने दावे को दोहराने की कोशिश की है। लेकिन इस बार भारत ने कड़ा विरोध दर्ज कराते हुए स्पष्ट संदेश दिया है कि अरुणाचल प्रदेश भारत का अभिन्न हिस्सा है और रहेगा। इस कदम को दोनों देशों के बीच बेहतर होते संबंधों पर असर डालने वाली रणनीतिक चाल माना जा रहा है।

LAC के पास ‘विशेष’ कैबिनेट बैठक

चीन की इस हरकत के जवाब में अरुणाचल प्रदेश सरकार ने 13 मई को एक विशेष कैबिनेट बैठक अंजाव जिले के लोहित नदी किनारे बसे सीमावर्ती गांव काहो में आयोजित की। यह वही क्षेत्र है,जिसे चीन बार-बार अपना बताने की कोशिश करता रहा है। इस बैठक के दौरान स्वामी विवेकानंद की एक प्रतिमा का अनावरण किया गया। मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने इसे “सीमांत क्षेत्र में राष्ट्रीय एकता और भारत के अंतिम छोर तक देशभक्ति के संदेश” का प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि काहो में स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा केवल श्रद्धांजलि नहीं, बल्कि यह एक सशक्त संदेश है — 'उठो, जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य प्राप्त न हो।

थेमबांग

भारत सरकार ने अब चीन को वैश्विक मंच पर जवाब देने की रणनीति अपनाई है। अरुणाचल प्रदेश सरकार थेमबांग गांव को यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट का दर्जा दिलाने की दिशा में सक्रिय है। थेमबांग एक ऐतिहासिक गांव है,जिसकी स्थापना पहली शताब्दी में मानी जाती है। यह गांव 1962 के भारत-चीन युद्ध में अहम रणक्षेत्र रहा था और यहां की 12वीं सदी की मोनपा स्थापत्यकला से बनी किलेबंदी इसे वैश्विक धरोहर की मजबूत दावेदार बनाती है। 13 अप्रैल को पश्चिम कामेंग जिले के दिरांग में स्थानीय परामर्श समिति (LCC) की बैठक हुई, जिसमें इस प्रयास में विभिन्न हितधारकों के बीच समन्वय बढ़ाने पर चर्चा हुई।

भारत सरकार ने 14 मई को चीन के सरकारी मीडिया संस्थानों ग्लोबल टाइम्स और **शिन्हुआ न्यूज के X अकाउंट्स को ब्लॉक कर दिया। इन पर भारत विरोधी भ्रामक सूचनाएं फैलाने का आरोप है। चीन के नागरिक मामलों के मंत्रालय ने 11 मई को अरुणाचल प्रदेश के 27 स्थानों के नए नामों की सूची जारी की, जिनमें 15 पर्वत, 4 दर्रे, 2 नदियां, 1 झील और 5 बसे हुए स्थान शामिल हैं। हालांकि,चीन ने इन स्थानों के वास्तविक स्थानों का खुलासा नहीं किया है।

नामकरण राजनीति

यह चीन की पांचवीं बार नाम बदलने की कवायद है और इस बार यह कदम उस समय उठाया गया है,जब भारत-पाक सीमा पर तनाव बढ़ रहा है। ऐसे में भारत को दो मोर्चों पर सुरक्षा तैयारियों को लेकर सतर्क रहना पड़ रहा है। चीन की यह कार्रवाई उस समय हो रही है, जब पिछले वर्ष अक्टूबर में लद्दाख की एलएसी पर चार साल लंबे सैन्य गतिरोध के बाद भारत और चीन के बीच रिश्तों में थोड़ी नरमी आई थी।

तिरंगा यात्रा

मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने 13 मई को भारत की सैन्य सफलता की याद में वालोंग में ‘तिरंगा यात्रा’ की शुरुआत की, जो कि ऑपरेशन सिंदूर के उपलक्ष्य में थी। उन्होंने इसे चीन के खिलाफ एक मजबूत संदेश बताया।

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