भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के चलते ना करें अनावश्यक खरीदारी
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भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के चलते ना करें अनावश्यक खरीदारी

पिछले एक दिन में लोगों के बीच भारत और पाकिस्तान के बीच लड़ाई की आशंका को देखते हुए कुछ लोग घर में जुर्रत से ज्यादा खाद्य पदार्थ भरने का प्रयास कर रहे हैं, जो गलत है.


India Pakistan Tension : भारत पाकिस्तान के बीच जैसे जैसे संघर्ष बढ़ता जा रहा है और पाकिस्तान की तरफ से उकसावे भरे हमले का प्रयास किया जा रहा है, उसकी वजह से दोनों देशों के आसमान में युद्ध के बादल छाने लगे हैं. भारत की सेना लगातार पाकिस्तान के हमलों को विफल करने में सफल हुई है, साथ ही पाकिस्तानी सैन्य ठिकानों को भी निस्तेनाबुद करने में कामयाबी हासिल की है. लेकिन इस बीच लोगों के बीच थोड़ी चिंता बढ़ी है, जिसकी वजह से वो जरूरत से ज्यादा सामान( खाद्य व आवश्यक वास्तु ) खरीदने लग गए हैं, ये सोच कर की कहीं युद्ध न छिड़ जाए. हालाँकि केंद्र सरकार की तरफ से जैसे खाद्य मंत्रालय, तेल कंपनियों ( पेट्रोलियम ) ने जनता को आश्वस्त किया कि कहीं किसी चीज की कमी नहीं है, इसलिए घबराए नहीं और अकारण किसी चीज का भण्डारण न करें. इतना ही नहीं केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों को जमा खोरी से निपटने के निर्देश भी दे दिए हैं, ताकि कहीं कोई जमा खोरी न कर पाए. फ़ेडरल देश की तरफ से देश के सभी लोगों से यही अपील की जाती है कि घबराए नहीं और किसी भी वस्तु का अतिरिक्त भण्डारण न करें. हमारी सरकार लगातार यही सन्देश दे रही है कि भारत युद्ध नहीं चाहता लेकिन पाकिस्तान उकसाने वाले हमले कर रहा है.

लगभग 30 से 40 प्रतिशत लोगों ने ख़रीदा सामान

ओल्ड राजिन्द्र नगर में रैपिड फ्लोर के नाम से जनरल स्टोर चलाने वाले पारस दुआ ने बताया कि अभी तक मामला नियंत्रण में है. लोगों में ज्यादा घबराहट नहीं दिख रही है लेकिन कुछ लोगों में थोड़ी बेचैनी देखने को मिली है. पारस के अनुसार एक समय कोरोना का था जब लोगों ने घरों में जरुरत से ज्यादा सामन भरना शुरू कर दिया था. वैसे हालात तो अभी तक नहीं देखने को मिले हैं लेकिन लगभग 30 से 40 प्रतिशत लोगों ने अपनी जरुरत से ज्यादा सामान खरीदना शुरू कर दिया है.

केंद्र सरकार ने जो आदेश जारी किये हैं, वो होल सेलर्स के लिए हैं ताकि वो जमाखोरी न कर सकें. लेकिन आम नागरिक के लिए कोई निर्देश नहीं है.

वहीँ यमुना विहार इलाके में एक देसी नामी ब्रांड ( आयुर्वेद से FMCG बनी कंपनी ) का स्टोर चलाने वाले शख्स मनीष ने बताया कि लोगों ने इस बार जरुरत से कुछ ज्यादा सामन ख़रीदा है. ऐसे ग्राहकों की संख्या लगभग 30 से 40 प्रतिशत है.

न करें पैनिक बाइंग

किसी भी आशंका के चलते जरुरत से ज्यादा खरीदारी करने को पैनिक बाइंग बोलते हैं.

कुछ इस तरह की बात कैश को लेकर भी सुनने में आ रही है. दिल्ली में शुक्रवार को कुछ ATM मशीन पर भीड़ देखी गयी. बताया गया कि ऐसा इसलिए हुआ कि लोगों में ये डर बैठ गया कि ब्लैक आउट जैसी स्थिति में कैश ही काम आएगा.

देश की सेना और सरकार पर रखें भरोसा

फेडरल देश सभी से ये अपील करता है कि किसी भी तरह की पैनिक बाइंग न करें, क्योंकि इससे अकारण सामान में कमी आएगी, जिसका फायदा होर्डर उठा सकते हैं. इसलिए देश की सेना और सरकार पर भरोसा रखें.


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