पहलगाम हमले के बाद पर्यटकों की भारी कमी, पर्यटन उद्योग में मंदी
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पहलगाम हमले के बाद पर्यटकों की भारी कमी, पर्यटन उद्योग में मंदी

जम्मू और कश्मीर सरकार ने सुरक्षा कारणों से 48 पर्यटन स्थलों और ट्रैकिंग मार्गों को बंद कर दिया है। इससे स्थानीय व्यवसायों की आजीविका पर संकट मंडरा रहा है।


कश्मीर में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद पर्यटन उद्योग पर गहरा असर पड़ा है। कश्मीर सरकार ने सुरक्षा कारणों से 48 पर्यटन स्थलों और ट्रैकिंग मार्गों को अस्थायी रूप से बंद कर दिया है, जिससे पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट आई है। इससे पर्यटन उद्योग को तगड़ा झटका लगा है।

पर्यटन में गिरावट

हमले के बाद, जम्मू और कश्मीर में पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट आई है। स्थानीय पर्यटन व्यवसायियों के अनुसार, वर्तमान में पर्यटकों की संख्या केवल 20% है, जो सामान्य सीजन में अपेक्षित थी। गुलमर्ग, सोनमर्ग और श्रीनगर जैसे कुछ स्थानों पर पर्यटक आ रहे हैं, लेकिन पहलगाम जैसे क्षेत्रों में बुकिंग रद्द हो रही हैं।

आर्थिक असर

जम्मू और कश्मीर का पर्यटन उद्योग प्रतिवर्ष लगभग ₹7,000-7,500 करोड़ का राजस्व उत्पन्न करता है, जो राज्य के सकल घरेलू उत्पाद का लगभग 7-8% है। पहलगाम हमले के बाद पर्यटन में गिरावट से राज्य की अर्थव्यवस्था पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है।

स्थानीय व्यवसाय प्रभावित

जम्मू और कश्मीर सरकार ने सुरक्षा कारणों से 48 पर्यटन स्थलों और ट्रैकिंग मार्गों को बंद कर दिया है। इससे स्थानीय व्यवसायों की आजीविका पर संकट मंडरा रहा है। हालांकि सोनमर्ग, गुलमर्ग, अरु और बीटाब वैली जैसे कुछ स्थल खुले हैं, लेकिन तोसा मैदान, डोडापथरी, वेरिनाग, बांगस वैली और युसमर्ग जैसे स्थल बंद हैं।

बुकिंग में भारी गिरावट

पहलगाम के होटल रिवेरिया के प्रवक्ता के अनुसार, अगले महीने तक की बुकिंग रद्द हो गई हैं। कुछ पर्यटकों ने अपनी यात्रा योजनाओं को स्थगित किया है या बदल दिया है, जबकि कुछ अन्य जम्मू के हिस्सों में यात्रा करने की योजना बना रहे हैं। डल झील के किनारे स्थित मीना बाजार के स्टॉल्स सुनसान पड़े हैं और दुकानदार ग्राहकों का इंतजार कर रहे हैं। नाविकों की आजीविका पर भी असर पड़ा है, क्योंकि डल झील के घाट नंबर 9 से चलने वाली 17 शिकारों में से केवल तीन ही चल रही हैं।

ऑनलाइन बुकिंग में 60% की गिरावट

ऑनलाइन ट्रैवल एजेंसियों के अनुसार, इस सीजन में कश्मीर के लिए बुकिंग में लगभग 60% की गिरावट आई है। हालांकि, होटल, साइटसीइंग ऑपरेटर और कैब ऑपरेटर पर्यटकों को पूर्ण रिफंड और यात्रा की तारीखों को पुनर्निर्धारित करने की पेशकश कर रहे हैं। पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए, जम्मू और कश्मीर में ट्रैवल एजेंसियां और टूर ऑपरेटर विभिन्न सेवाओं पर 50% तक की छूट प्रदान कर रहे हैं। टैक्सी राइड्स, गाइडेड टूर और होटल स्टे जैसी सेवाओं पर छूट दी जा रही है।

जम्मू यात्रा पर भी असर

जम्मू यात्रा की योजनाओं में भी गिरावट आई है। कुछ पर्यटकों ने अपनी यात्रा योजनाओं को स्थगित किया है या बदल दिया है, जबकि कुछ अन्य शिमला या मनाली जैसे स्थानों की यात्रा करने की योजना बना रहे हैं। हालांकि चुनौतियां हैं, लेकिन सूखे मेवे और हस्तशिल्प जैसे उत्पादों का निर्यात जारी है, जो स्थानीय व्यवसायों को संजीवनी प्रदान कर रहा है। स्थानीय लोग अब भी सामान्य स्थिति की उम्मीद कर रहे हैं और बंद किए गए पर्यटन स्थलों के फिर से खुलने का इंतजार कर रहे हैं।

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