लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में अजय मिश्र टेनी के बेटे को सुप्रीम कोर्ट ने दी जमानत
अदालत ने इसी मामले में आरोपी किसानों को भी जमानत दे दी है. जमानत देने के साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने ट्रायल कोर्ट को ये निर्देश दिए हैं कि वो इस मामले की सुनवाई में तेजी लाये. बता दें कि लखीमपुर खीरी हिंसा में आठ लोगों की मौत हुई थी.
Lakhimpur Khiri violence: उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में वर्ष 2021 में हुई हिंसा के मामले में पूर्व केन्द्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे आशीष मिश्र को जमानत दे दी है. इसके साथ ही अदालत ने इसी मामले में आरोपी किसानों को भी जमानत दे दी है. जमानत देने के साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने ट्रायल कोर्ट को ये निर्देश दिए हैं कि वो इस मामले की सुनवाई में तेजी लाये. बता दें कि लखीमपुर खीरी हिंसा में आठ लोगों की मौत हुई थी.
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस सूर्यकान्त और जस्टिस उज्जल भुइयां की डबल बेंच ने सभी परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए अंतरिम आदेश को अंतिम रूप देते हुए आशीष मिश्र और किसानों को जमानत देने का आदेश सुनाया. अदालत ने आशीष मिश्र के दिल्ली या लखनऊ आने-जाने पर भी रोक लगा दी है.
ट्रायल कोर्ट से सुनवाई में तेजी लाने को कहा
न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने मामले में निचली अदालत को सुनवाई में तेजी लाने का निर्देश दिया था. अदालत ने कहा कि हमें सूचित किया गया है कि 117 गवाहों में से अब तक केवल सात की ही जांच की जा गयी है. हमारे विचार में मुकदमे की कार्यवाही में तेजी लाने की जरूरत है."
पीठ ने ये भी कहा कि "हम ट्रायल कोर्ट को निर्देश देते हैं कि वो लंबित अन्य समयबद्ध या अति आवश्यक मामलों को ध्यान में रखते हुए कार्यक्रम तय करे, लेकिन लंबित विषय को प्राथमिकता दे."
पिछले साल दी थी अंतरिम जमानत
लखीमपुर खीरी हिंसा काण्ड में सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल 25 जनवरी को आशीष मिश्रा को अंतरिम जमानत दी थी.
ज्ञात रहे कि जिले में हिंसा तब भड़की थी जब किसानों ने उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के क्षेत्र के दौरे के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था. उसी दौरान चार किसानों को एक स्पोर्ट्स यूटिलिटी वाहन ने कुचल दिया था. इसके बाद गुस्साए किसानों ने कथित तौर पर एक ड्राइवर और दो भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) कार्यकर्ताओं की पीट-पीटकर हत्या कर दी थी. इस हिंसा में एक पत्रकार की भी मौत हो गई थी.
(शीर्षक को छोड़कर, इस कहानी को फेडरल स्टाफ द्वारा संपादित नहीं किया गया है और एक सिंडिकेटेड फीड से स्वतः प्रकाशित किया गया है।)
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