मणिपुर हिंसा: सीएम बीरेन सिंह ने की राज्यपाल से मुलाकात, इस्तीफे की अटकलें तेज!
मणिपुर में इस सप्ताह हिंसा की एक नई लहर के बाद अफवाहें फैलीं कि एन बीरेन सिंह मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे देंगे.
Manipur Violence: मणिपुर में इस सप्ताह हिंसा की एक नई लहर के बाद शनिवार (7 सितंबर) को अफवाहें फैलीं कि पूर्वोत्तर राज्य में हिंसा भड़कने के 16 महीने बाद एन बीरेन सिंह मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे देंगे. बता दें कि इस हिंसा में युद्धरत पक्षों द्वारा रॉकेट और ड्रोन जैसे उच्च तकनीक वाले हथियारों का इस्तेमाल किया गया था.
यह अटकलें शनिवार को सिंह द्वारा की गई कई बैठकों के कारण लगाई जा रही हैं, जिनमें राज्यपाल के साथ शाम 7.30 बजे हुई बैठक भी शामिल है, जो लगभग 40 मिनट तक चली. सिंह मुख्यमंत्री सचिवालय में सत्तारूढ़ गठबंधन के विधायकों और मंत्रियों की एक आपात बैठक के बाद राज्यपाल एल आचार्य से मिलने पहुंचे. बैठक में हिंसा की ताजा घटना पर चर्चा की गई, जिसमें पिछले पांच दिनों में सात लोग मारे गए हैं और 15 से अधिक घायल हुए हैं.
VIDEO | Manipur CM N Biren Singh (@NBirenSingh) arrives at the Raj Bhavan in Imphal.
— Press Trust of India (@PTI_News) September 7, 2024
(Full video available on PTI Videos - https://t.co/n147TvrpG7) pic.twitter.com/Tx4KshBT5E
बैठकों का दौर
एक समाचार एजेंसी के अनुसार, विधायकों की बैठक में 25 विधायकों ने भाग लिया, जिन्होंने हथियारबंद बदमाशों द्वारा किए गए हमलों से संबंधित मामलों पर चर्चा की. सत्तारूढ़ गठबंधन में भाजपा, नगा पीपुल्स फ्रंट और नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) शामिल हैं. इससे पहले दिन में सिंह ने कैबिनेट की आपात बैठक बुलाई थी. शाम को भाजपा विधायक दल की बैठक भी हुई, जिसके बाद सिंह ने राज्यपाल से मिलने का समय मांगा. सिंह के इस्तीफे की अटकलों को और हवा तब मिली, जब मणिपुर के सुरक्षा सलाहकार भी राजभवन पहुंचे और राज्यपाल के साथ बंद कमरे में बैठक की. खबर है कि कैबिनेट की एक और बैठक भी होने वाली है.
मैतेईस की समय सीमा
मैतेईस के शीर्ष संगठन मणिपुर अखंडता पर समन्वय समिति (सीओसीओएमआई) ने शुक्रवार को आपातकाल की स्थिति घोषित की थी और सुरक्षा बलों को कुकी उग्रवादियों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए पांच दिन की समय सीमा तय की थी. मणिपुर के जिरीबाम जिले में शनिवार सुबह फिर से हिंसा भड़क उठी, जिसमें पांच लोगों की मौत हो गई. इससे पहले शुक्रवार को बिष्णुपुर जिले में उग्रवादियों द्वारा रॉकेट हमले में कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई थी.
शुक्रवार को रॉकेट हमलों से पहले, इस सप्ताह की शुरुआत में इम्फाल पश्चिम जिले में दो नजदीकी स्थानों पर लोगों पर बम गिराने के लिए ड्रोन का इस्तेमाल किया गया था. दोनों ही घटनाएं राज्य में पहले कभी नहीं हुई थीं, जहां पिछले साल मई से जातीय हिंसा में 200 से अधिक लोग मारे गए हैं और हजारों लोग बेघर हो गए हैं. मणिपुर पुलिस ने अब एंटी-ड्रोन सिस्टम तैनात कर दिया है. आईजी (इंटेलिजेंस) के कबीब ने कहा कि पुलिस नागरिकों पर हमलों का मुकाबला करने के लिए अतिरिक्त हथियार खरीदने की प्रक्रिया में है.
उन्होंने कहा कि राज्य पुलिस स्थिति पर बारीकी से नज़र रख रही है और वरिष्ठ अधिकारियों को ज़मीन पर तैनात किया गया है. हाल ही में हुए ड्रोन हमलों के कारण एक ड्रोन-रोधी प्रणाली तैनात की गई है और राज्य पुलिस अतिरिक्त ड्रोन-रोधी बंदूकें खरीदने की प्रक्रिया में है, जिन्हें जल्द ही तैनात किया जाएगा. उन्होंने कहा कि सेना के हेलीकॉप्टर हवाई गश्त कर रहे हैं और संवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया गया है.
तलाशी अभियान तेज
उन्होंने कहा कि पहाड़ियों और घाटियों दोनों तरफ तलाशी अभियान तेज कर दिया गया है, जिसमें उन इलाकों पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है, जहां से लंबी दूरी के रॉकेट और ड्रोन दागे गए थे. ये अभियान कम से कम 3-5 किलोमीटर के दायरे में चलेंगे और इन इलाकों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा. तलाशी अभियान का उद्देश्य पहाड़ियों और घाटी दोनों में उन क्षेत्रों से किसी भी तरह के हमले को रोकना है, जहां रॉकेट दागे गए थे और ड्रोन लॉन्च किए गए थे. जिरीबाम जिले में भड़की हिंसा के संबंध में कबीब ने कहा कि संदिग्ध कुकी उग्रवादियों ने नुंगचाबी गांव पर हमला किया, जिसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई.
उन्होंने कहा कि हमने भड़काने वालों की पहचान करने के लिए अपने सोशल मीडिया मॉनिटरिंग सेल को सक्रिय कर दिया है. हमने कुछ ऐसे लोगों की पहचान की है, जो लोगों की भावनाओं को भड़काते हैं और उनमें हेरफेर करते हैं, जिससे अराजकता फैलती है. हम सोशल मीडिया पर उनकी पहचान कर रहे हैं और चेतावनी दे रहे हैं कि उन्हें कानून की संबंधित धाराओं के तहत जवाबदेह ठहराया जाएगा. आईजी ने कहा कि शनिवार सुबह लोइबोल खुल्लेन और टिंगकाई खुल्लेन में दो तलाशी अभियानों के दौरान, जो कांगपोकपी और बिष्णुपुर जिलों की सीमा पर हैं, अत्याधुनिक हथियारों और गोला-बारूद का एक बड़ा जखीरा बरामद किया गया. इसमें नौ अत्याधुनिक हथियार, एक संशोधित स्नाइपर राइफल, 21 विभिन्न प्रकार के गोला-बारूद, 21 विस्फोटक और ग्रेनेड तथा एक वायरलेस सेट शामिल थे.