सबरीमाला में भगवान अयप्पा के दर पर पहुंचीं राष्ट्रपति मुर्मू, सिर पर इरुमुडिकेत्तु रखकर दर्शन किए
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सबरीमाला अयप्पा मंदिर में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सिर पर इरुमुडिकेत्तु रखकर भगवान अयप्पा के दर्शन किए। (स्रोत: X/ANI से स्क्रीनग्रैब)

सबरीमाला में भगवान अयप्पा के दर पर पहुंचीं राष्ट्रपति मुर्मू, सिर पर इरुमुडिकेत्तु रखकर दर्शन किए

राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू सबरीमाला के प्रतिष्ठित मंदिर जाने वाली पहली महिला स्टेट हेड और दूसरी भारतीय राष्ट्रपति बन गई हैं; उन्होंने सिर पर पवित्र इरुमुडिकेत्तु रखकर दर्शन किए।


केरल के प्रसिद्ध सबरीमाला अयप्पा मंदिर में बुधवार (22 अक्टूबर) को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दर्शन किए। वह इस पवित्र मंदिर में जाने वाली देश की पहली महिला स्टेट हेड बन गई हैं। वह अब तक इस मंदिर का दौरा करने वाली दूसरी भारतीय राष्ट्रपति हैं — पहली बार 1970 के दशक में वी. वी. गिरी ने यहां दर्शन किए थे, जो डॉली (पालकी) में मंदिर पहुंचे थे।

पंपा पहुंचने से लेकर ‘इरुमुडिकेत्तु’ तक

राष्ट्रपति मुर्मू सुबह करीब 11 बजे विशेष काफिले के साथ पंपा पहुंचीं। उन्होंने पहले पंपा नदी में अपने पैर धोए और पास के मंदिरों में, जिनमें गणपति मंदिर भी शामिल था, पूजा-अर्चना की।

इसके बाद वह ‘केट्टुनिरा मंडपम’ पहुंचीं, जहां गणपति मंदिर के मुख्य पुजारी विश्नु नंबूथिरी ने उनका पवित्र इरुमुडिकेत्तु (भक्ति गठरी) भरा। यह पारंपरिक गठरी भक्तों द्वारा भगवान अयप्पा को अर्पित की जाती है।

राष्ट्रपति ने काली साड़ी पहनी थी और उनके साथ एडीसी सौरभ एस. नायर, पीएसओ विनय माथुर और दामाद गणेश चंद्र होमब्रम मौजूद थे। सभी ने अपने-अपने इरुमुडिकेत्तु प्राप्त किए।

पारंपरिक पूजा और मंदिर यात्रा

समूह ने मंदिर परिसर के पास पत्थर की दीवार पर नारियल फोड़ने की पारंपरिक रस्म निभाई, जिसके बाद वे चार पहिया वाहनों से 4.5 किमी लंबी स्वामी अयप्पन रोड और पारंपरिक मार्ग से अयप्पा मंदिर (सनिधनम) पहुंचे।

18 पवित्र सीढ़ियाँ और अयप्पा के दर्शन

सनिधनम पहुंचने पर राष्ट्रपति मुर्मू ने मंदिर की 18 पवित्र सीढ़ियाँ (पथिनेट्टंपडी) चढ़ीं और मुख्य गर्भगृह में प्रवेश किया। वहां देवस्वम मंत्री वी. एन. वसावन और त्रावणकोर देवस्वम बोर्ड (टीडीबी) के अध्यक्ष पी. एस. प्रसांत ने उनका स्वागत किया।

मंदिर के तनत्री (मुख्य आचार्य) कंदरारू महेश मोहनारू ने उन्हें पूर्ण कुम्भ से अभिनंदित किया।

राष्ट्रपति ने सिर पर इरुमुडिकेत्तु रखकर भगवान अयप्पा के दर्शन किए। उन्होंने और उनके साथियों ने अपने पवित्र गठरी मंदिर की सीढ़ियों पर रखीं, जिन्हें बाद में मुख्य पुजारी ने पूजा के लिए मंदिर के भीतर ले जाया।

इसके बाद उन्होंने मलिकप्पुरम देवी मंदिर सहित पास के अन्य मंदिरों में भी पूजा-अर्चना की और फिर देवस्वम बोर्ड अतिथि गृह में लौटकर दोपहर का भोजन और विश्राम किया।

राष्ट्रपति के दौरे के दौरान श्रद्धालुओं के दर्शन पर अस्थायी प्रतिबंध लगाया गया था, टीडीबी अधिकारियों ने बताया।

केरल दौरे का कार्यक्रम

राष्ट्रपति मुर्मू का हेलिकॉप्टर सुबह 8:40 बजे प्रमादम के राजीव गांधी इंडोर स्टेडियम में उतरा। वहां से वह सड़क मार्ग से पंपा पहुंचीं। मंत्री वी. एन. वसावन, पथानमथिट्टा सांसद एंटो एंटनी और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उनकी अगवानी के लिए मौजूद थे।

उनका काफिला सुबह 7:25 बजे त्रिवेन्द्रम स्थित राजभवन से एयरपोर्ट के लिए रवाना हुआ था। सबरीमाला दर्शन के बाद राष्ट्रपति शाम तक राजधानी तिरुवनंतपुरम लौट आईं।

राष्ट्रपति मुर्मू मंगलवार (21 अक्टूबर) की शाम को चार दिवसीय आधिकारिक दौरे पर केरल पहुंची थीं। एयरपोर्ट पर उनका स्वागत राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर, मुख्यमंत्री पिनराई विजयन और अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने किया।

आगामी कार्यक्रम

23 अक्टूबर (गुरुवार) को राष्ट्रपति मुर्मू पूर्व राष्ट्रपति के. आर. नारायणन की प्रतिमा का अनावरण राजभवन में करेंगी। इसके बाद वह वडकरा के शिवगिरी मठ में श्री नारायण गुरु की महासमाधि शताब्दी समारोह का उद्घाटन करेंगी। फिर वह कोट्टायम जिले के पाला स्थित सेंट थॉमस कॉलेज की प्लैटिनम जुबली के समापन समारोह में भाग लेंगी।

24 अक्टूबर को वह एर्नाकुलम के सेंट टेरेसा कॉलेज की शताब्दी समारोह में भाग लेकर अपने केरल दौरे का समापन करेंगी।

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