ईरान में राष्ट्रपति नहीं, यह नेता है सुप्रीम लीडर; पूरे देश पर करता है हुकूमत
ईरान के शासन व्यवस्था की बात करें तो यहां राष्ट्रपति का सेलेक्शन चुनाव द्वारा किया जाता है. लेकिन वह इस देश का सर्वोच्च नेता नहीं होता है.
Iran Supreme Leader: हर देश में शासन चलाने के लिए एक व्यवस्था बनाई गई है. जैसे अमेरिका में राष्ट्रपति प्रमुख होता है और राज्यों में गवर्नर की सबसे बड़ी भूमिका होती है. उसी तरह भारत में राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री की व्यवस्था बनाई गई है. भारत में राष्ट्रपति को प्रथम नागरिक माना जाता है. लेकिन कार्यकारी शक्तियां प्रधानमंत्री के हाथों में अधिक होती हैं. लेकिन आज ईरान के शासन व्यवस्था की बात करने जा रहे हैं. ईरान में राष्ट्रपति का सेलेक्शन चुनाव द्वारा किया जाता है. लेकिन वह इस देश का सर्वोच्च नेता नहीं होता है. ईरान में सुप्रीम लीडर सबसे ऊपर होता है, वहीं, राष्ट्रपति दूसरे नंबर का सर्वोच्च नेता होता है.
अयातुल्ला अली खुमैनी सर्वोच्च नेता
ईरान में अयातुल्ला अली खुमैनी साल 1989 से देश के सर्वोच्च नेता हैं. उनको स्टेट हेड और कमांडर-इन-चीफ का दर्जा प्राप्त है. ईरान में न्यायपालिका के प्रमुख को चुनने का अधिकार भी सुप्रीम लीडर के पास होता है. इतना ही नहीं अयातुल्ला अली खुमैनी राष्ट्रीय पुलिस, मोरिलिटी पुलिस और इस्लामिक रिवोल्यूशन गार्ड कॉर्प्स (आईआरजीसी) को भी कंट्रोल करते हैं.
राष्ट्रपति इब्राहिम रायसी दूसरे ताकतवर इंसान
वहीं, ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रायसी दूसरे ताकतवर इंसान हैं. वह सरकार के कामकाज के साथ ही घरेलू नीति और विदेशी मामलों के कामों को संभालते हैं. हालांकि, सुरक्षा मामलों में राष्ट्रपति से ज्यादा शक्तियां सुप्रीम लीडर के पास होती हैं. जैसे कि राष्ट्रपति का आंतरिक मंत्रालय राष्ट्रीय पुलिस बल का संचालन करता है, लेकिन इसके कमांडर की नियुक्ति सुप्रीम लीडर करते हैं. ईरान में सुप्रीम लीडर के बाद राष्ट्रपति, न्यायपालिका, संसद, गार्जियन काउंसिल और आर्म्स फोर्स आते हैं. फोर्स के तहत सेना, पुलिस, आईआरजीसी और मोरेलिटी पुलिस आती हैं.
ईरान की सुरक्षा व्यवस्था
ईरान में मोरेलिटी पुलिस की स्थापना साल 2005 में हुई थी. यह इस्लामी नैतिकता और कपड़े पहनने को लेकर बने कानूनों पर नजर रखती है. मोरेलिटी पुलिस में लगभग सात हजार पुरुष और महिलाओं की तैनाती है. इनके पास जुर्माना लगाने, संदिग्धों को गिरफ्तार करने और चेतावनी जारी करने की पावर होती है. वहीं, देश की आंतरिक सुरक्षा के लिए आईआरजीसी का गठन किया गया था. आईआरजीसी में डेढ़ लाख से अधिक कर्मी शामिल हैं. इसके पास खुद की आर्मी, नौसेना और वायु सेना है.
संसद के पास अधिकार
ईरान के संसद के लिए हर चार साल चुनाव के जरिए 290 सदस्य चुने जाते हैं. संसद के पास कानून बनाने और बजट पेश करने का अधिकार होता है. लेकिन संसद पर गार्जियन काउंसिल नियंत्रण करता है. काउंसिल के पास संसद से पास शरिया या इस्लामी कानून की जांच करने का अधिकार होता है और संतुष्ट न होने पर वह संबंधित कानून को रद्द भी कर सकता है. इसी काउंसिल के आधे सदस्य सुप्रीम लीडर की नियुक्ति भी करते हैं.