मार्केट में नहीं बिकेंगे पतंजलि के 14 प्रोडेक्ट, उत्तराखंड सरकार ने लाइसेंस किए थे निलंबित

पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया कि उसने उन 14 उत्पादों की बिक्री रोक दी है.

Update: 2024-07-09 10:02 GMT

Patanjali Products not Sold: पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया कि उसने उन 14 उत्पादों की बिक्री रोक दी है, जिनके निर्माण लाइसेंस अप्रैल में उत्तराखंड राज्य लाइसेंसिंग प्राधिकरण द्वारा निलंबित कर दिए गए थे. कंपनी ने जस्टिस हिमा कोहली और संदीप मेहता की पीठ को बताया कि उसने 5,606 फ्रैंचाइज़ी स्टोर्स को इन उत्पादों को वापस लेने के निर्देश जारी कर दिए हैं.

कंपनी ने कहा कि इसके अलावा मीडिया प्लेटफॉर्म्स को भी इन 14 उत्पादों के किसी भी रूप में विज्ञापन वापस लेने का निर्देश दिया गया है. बता दें कि पीठ ने पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड को दो सप्ताह के भीतर हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया कि क्या विज्ञापनों को हटाने के लिए सोशल मीडिया बिचौलियों से किए गए अनुरोध को स्वीकार कर लिया गया है और क्या इन 14 उत्पादों के विज्ञापन वापस ले लिए गए हैं.

बता दें कि उत्तराखंड राज्य लाइसेंसिंग प्राधिकरण ने अप्रैल में पतंजलि के 14 उत्पादों के विनिर्माण लाइसेंस निलंबित कर दिए थे. वहीं, पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड ने जस्टिस हिमा कोहली और संदीप मेहता की पीठ को बताया कि उसने 5,606 फ्रेंचाइजी स्टोर्स को इन उत्पादों को वापस लेने के निर्देश जारी किए हैं. इसके साथ ही मीडिया प्लेटफॉर्म्स को भी इन 14 उत्पादों के किसी भी रूप में विज्ञापन वापस लेने का निर्देश दिया गया है.

पीठ ने पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड को दो सप्ताह के भीतर एक हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया, जिसमें बताया गया कि क्या विज्ञापनों को हटाने के लिए सोशल मीडिया मध्यस्थों से किए गए अनुरोध को स्वीकार कर लिया गया है और क्या इन 14 उत्पादों के विज्ञापन वापस ले लिए गए हैं. पीठ ने मामले की अगली सुनवाई 30 जुलाई को तय की है.

शीर्ष अदालत भारतीय चिकित्सा संघ (आईएमए) द्वारा दायर एक याचिका पर सुनवाई कर रही है, जिसमें पतंजलि द्वारा कोविड टीकाकरण अभियान और आधुनिक चिकित्सा पद्धतियों के खिलाफ बदनाम करने का आरोप लगाया गया है. सर्वोच्च न्यायालय ने भ्रामक विज्ञापन मामले में योग गुरु रामदेव, उनके सहयोगी बालकृष्ण और पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड को जारी अवमानना ​​नोटिस पर 14 मई को अपना आदेश सुरक्षित रख लिया था.

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