PM की बड़ी बैठक; सिंधु संधि रहेगी निलंबित, युद्धविराम 'सशर्त': सूत्र
भारत और पाकिस्तान के बीच सैन्य कार्रवाई रोकने की सहमति के ऐलान के बाद शनिवार शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक उच्चस्तरीय बैठक की। इस बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, विदेश मंत्री एस. जयशंकर, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान और तीनों सेनाओं के प्रमुख शामिल हुए।
विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने जानकारी दी कि भारत और पाकिस्तान के सैन्य संचालन महानिदेशकों (DGMOs) ने जमीन, हवा और समुद्र—तीनों मोर्चों पर गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमति जताई है, जो शनिवार शाम 5 बजे से प्रभावी हो गई है।
यह घोषणा विदेश सचिव द्वारा उस समय की गई जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि अमेरिका की मध्यस्थता में हुई बातचीत के बाद भारत और पाकिस्तान “पूर्ण और तत्काल” युद्धविराम पर सहमत हो गए हैं।
'सशर्त' युद्धविराम
वहीं सूत्रों का कहना है कि यह युद्धविराम सशर्त है और पाकिस्तान के खिलाफ भारत की कूटनीतिक रणनीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है। इसमें सिंधु जल संधि को निलंबित रखने का निर्णय भी शामिल है।
सूत्रों ने स्पष्ट किया कि युद्धविराम की पहल पाकिस्तान की ओर से की गई थी। विदेश मंत्री एस. जयशंकर के बयान का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि भारत आतंकवाद के खिलाफ अपने अडिग रुख पर कायम है और इसमें कोई नरमी नहीं बरती जाएगी।
रक्षा मंत्रालय ने युद्धविराम की घोषणा के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि भारत ने पाकिस्तान द्वारा किए गए तीन बड़े मिसाइल और ड्रोन हमलों को नाकाम किया और जवाबी कार्रवाई में उसके एयर डिफेंस सिस्टम को गंभीर नुकसान पहुंचाया, जिससे वह अपनी हवाई सीमाओं की रक्षा करने में असमर्थ हो गया।
सेना की चेतावनी
इस घटनाक्रम के बाद भारतीय सेना ने साफ चेतावनी दी है कि भविष्य में पाकिस्तान द्वारा की गई किसी भी दुस्साहसपूर्ण कार्रवाई या तनाव बढ़ाने के प्रयासों का कड़ी और निर्णायक प्रतिक्रिया दी जाएगी।
नेवी के कमोडोर रघु नायर ने मीडिया को बताया, “हम आज हुए समझौते का पालन करेंगे, लेकिन भारत की संप्रभुता की रक्षा के लिए पूरी तरह तैयार हैं। जरूरत पड़ने पर हम तुरंत कार्रवाई कर सकते हैं।”
दंडात्मक कदम बरकरार
सरकार के सूत्रों ने बताया कि 22 अप्रैल को पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के खिलाफ भारत द्वारा उठाए गए दंडात्मक कदम, जैसे कि सिंधु जल संधि को निलंबित करना, जारी रहेंगे। भारत ने 23 अप्रैल को जो कठोर कदम उठाए थे, वे प्रभाव में बने रहेंगे, भले ही सैन्य कार्रवाई पर फिलहाल रोक लगाई गई हो।
ब्लैकआउट आदेशों में ढील
इसी बीच पंजाब में शनिवार शाम के लिए जारी किए गए ब्लैकआउट आदेशों को वापस ले लिया गया है। संगरूर, रूपनगर और फाजिल्का जिलों के प्रशासन ने इन आदेशों को रद्द कर दिया, जबकि जालंधर, कपूरथला और पटियाला में भी प्रतिबंधात्मक आदेश हटाए गए।
इससे पहले, भारत-पाक संघर्ष की आशंका के कारण कई जिलों में शनिवार शाम ब्लैकआउट लागू करने का निर्णय लिया गया था। (एजेंसी इनपुट के साथ)