बारिश,गीला आउट फील्ड लेकिन हमने तय कर लिया था, कानपुर टेस्ट पर आर अश्विन

टीम इंडिया ने बांग्लादेश के खिलाफ कानपुर टेस्ट मैच में जीत के साथ सीरीज अपने नाम पर कर ली। इस खास जीत पर आर अश्विन ने बड़ी बात कही।;

By :  Lalit Rai
Update: 2024-10-02 02:31 GMT
बारिश,गीला आउट फील्ड लेकिन हमने तय कर लिया था, कानपुर टेस्ट पर आर अश्विन
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R Ashwin On Kanpur Test Match:  बांग्लादेश के खिलाफ कानपुर टेस्ट मैच कायदे से 2 दिन तक चला था। उस मैच में टीम इंडिया ने बांग्लादेश टीम को कुचल दिया। चेन्नई मैच के हीरो रहे आर अश्विन ने इस टेस्ट मैच के बारे में खास जानकारी दी। उनका कहना है कि टीम ने पहले ही तय कर लिया था कि प्रतिद्वंद्वी टीम को कड़ी मात देनी है। दरअसल बारिश और गीली ऑउट फील्ड के बाद चुनौती बड़ी थी। यह अंदाजा लगा पाना आसान नहीं था कि मैच कौन सा रुख लेगा। लेकिन हमने तय कर लिया था कि इस मैच को हाथ से नहीं जाने देना है।

चौथे दिन बांग्लादेश ने 107/3 पर अपनी पारी जारी रखी। मैच में समय कम था और हमारे लिए नतीजा जरूरी था। पूरी टीम ने रणनीति पर विचार-विमर्श किया। अश्विन ने बताया कि उन्होंने चुनौतीपूर्ण मौसम और खिलाड़ियों पर पड़ने वाली भीषण गर्मी के कारण इस विकल्प पर चर्चा की।  हाँ, हमने इस पर चर्चा की (पारी छोड़ने की)। हम इस बात पर विचार कर रहे थे कि क्या हमें एक पारी छोड़ देनी चाहिए, लेकिन गर्मी बहुत अधिक थी।  ये कठोर परिस्थितियां हैं बहुत ज्यादा पसीना आ रहा था, एक दिन में चार बार शर्ट बदलनी पड़ी, और फिर भी यह पर्याप्त नहीं था। 

मौसम तकलीफ देने वाला था
इस तरह का मौसम तेज गेंदबाजों के लिए खास तौर पर कठिन था। स्पिनरों को भी यह थका देने वाला लगा। अगर हम उन्हें 200 रन पर आउट कर देते तो भी हमें मैदान पर पांच सत्र बिताने पड़ते जो बल्लेबाजों के लिए भी मुश्किल होता। इसलिए हमने बल्लेबाजी और गेंदबाजी करने का फैसला किया। चनौतीपूर्ण हालात के बाद भी भारत ने बांग्लादेश को 233 रन पर आउट कर दिया।  8.22 की तेज रन रेट से रन बनाने के बाद 285/9 पर अपनी पहली पारी घोषित की जिससे 52 रन की बढ़त हासिल हुई।

वो किसी से अपनी तुलना नहीं कर रहे
भारतीय गेंदबाजों ने फिर बांग्लादेश को 146 रन पर रोक दिया, जिससे भारत 95 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए 7 विकेट से जीत हासिल कर सका। अश्विन को प्लेयर ऑफ द सीरीज से सम्मानित किया गया, जो टेस्ट क्रिकेट में उनका 11वां खिताब था। यह उपलब्धि उन्हें श्रीलंका के मुथैया मुरलीधरन के बराबर ले जाती है, जिनके नाम भी 11 ऐसे खिताब हैं। हालांकि, अश्विन ने स्पष्ट किया कि मुरलीधरन के साथ तुलना उनका फोकस नहीं है।  अश्विन ने कहा कि वो खुद की तुलना मुरलीधरन से नहीं कर रहे हैं। यह एक बड़ी कामयाबी है और वो खुश हैं। आप एक ऐसा खेल खेल रहे हैं जिसे आप पसंद करते हैं और इससे कुछ हासिल करना अच्छा है।।

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