'शादी का झांसा' बनाम 'झूठा आरोप', यश दयाल केस में ट्विस्ट
यौन शोषण मामले में क्रिकेटर यश दयाल को इलाहाबाद हाईकोर्ट से राहत मिली। कोर्ट ने कहा- "5 साल तक कोई धोखा नहीं खा सकता। अदालत ने फिलहाल गिरफ्तारी पर रोक लगाई है।;
उत्तर प्रदेश के गाज़ियाबाद जिले के इंदिरापुरम थाने में एक महिला द्वारा दर्ज कराई गई यौन शोषण की एफआईआर के मामले में रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) के तेज गेंदबाज यश दयाल को इलाहाबाद हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने मंगलवार को दयाल की गिरफ्तारी पर अस्थायी रोक लगाते हुए कहा कि उनके खिलाफ कोई ज़बरदस्ती की कार्रवाई न की जाए।
'5 साल तक कोई धोखा नहीं खा सकता'
न्यायमूर्ति सिद्धार्थ वर्मा और न्यायमूर्ति अनिल कुमार की खंडपीठ ने मौखिक टिप्पणी करते हुए कहा 1 दिन, 2 दिन, 3 दिन… कोई धोखा खा सकता है, लेकिन 5 साल तक कोई बेवकूफ नहीं बन सकता। यदि आप पांच साल तक रिश्ते में हैं, तो इसे सिर्फ धोखा नहीं कहा जा सकता।
यौन शोषण का आरोप
महिला द्वारा 6 जुलाई को दर्ज कराई गई एफआईआर में कहा गया है कि यश दयाल ने शादी का वादा कर पांच साल तक शारीरिक संबंध बनाए, लेकिन बाद में यह स्पष्ट हो गया कि वह किसी और महिला के साथ रिश्ते में हैं। मामला भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 69 (छल से यौन संबंध) के तहत दर्ज हुआ है।
आत्महत्या की कोशिश और मानसिक तनाव
शिकायतकर्ता ने 21 जून को मुख्यमंत्री जनसुनवाई पोर्टल (IGRS) के माध्यम से शिकायत भेजी थी। महिला का आरोप है कि यश दयाल ने कई बार उसे अपनी फैमिली से मिलवाया और कहा कि वह उसे अपनी बहू बनाएंगे।मैंने पूरे विश्वास और निष्ठा से यह रिश्ता निभाया, लेकिन बाद में मानसिक प्रताड़ना के कारण डिप्रेशन में चली गई और कई बार आत्महत्या की कोशिश भी की।
यश दयाल की सफाई और पलटवार
यश दयाल ने सभी आरोपों को नकारते हुए प्रयागराज पुलिस के पास काउंटर शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने आरोप लगाया है कि महिला ने उनका iPhone और लैपटॉप चुरा लिया, और धोखे से उनसे पैसे उधार लिए। दयाल ने एफआईआर दर्ज करने की मांग की है।
यह मामला क्यों महत्वपूर्ण है?
यह मामला सिर्फ एक क्रिकेटर की निजी ज़िंदगी तक सीमित नहीं, बल्कि शादी का वादा कर यौन संबंध बनाने से जुड़े कानूनी और सामाजिक सवालों को भी उजागर करता है। कोर्ट की टिप्पणी उन मामलों में एक बड़ी नज़ीर बन सकती है जहां लंबे समय तक सहमति से बने रिश्ते बाद में आरोपों का विषय बन जाते हैं।