दुबई एयर शो में IAF का तेजस क्रैश, पायलट की मौत
HAL निर्मित तेजस LCA दोपहर 2:10 बजे दुर्घटनाग्रस्त; वीडियो में तेजस अचानक तेजी से गिरता दिखा और फिर काला धुआँ दिखा। पायलट की मौत।
Tejas Crash In Dubai Air Show : दुबई एयर शो में शुक्रवार दोपहर एक तेजस फाइटर जेट उड़ान प्रदर्शन के दौरान क्रैश हो गया। हादसा अल मकतूम इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर हुआ, जहाँ दुर्घटनास्थल से उठता गाढ़ा काला धुआँ दूर तक दिखाई दिया।
एयर शो के वीडियो के अनुसार, हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) द्वारा विकसित यह सिंगल-सीट लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (LCA) स्थानीय समयानुसार करीब 2:10 बजे दुर्घटनाग्रस्त हुआ।
भारतीय वायू सेना ने इस दुर्घटना की पुष्टि करते हुए कहा है कि हादसे में पायलट की मृत्यु हो गयी है। कोर्ट ऑफ़ इन्क्वायरी के आदेश दिए गए हैं ताकि ये पता चल सके कि दुर्घटना के पीछे क्या कारण रहा है।
An IAF Tejas aircraft met with an accident during an aerial display at Dubai Air Show, today. The pilot sustained fatal injuries in the accident.
— Indian Air Force (@IAF_MCC) November 21, 2025
IAF deeply regrets the loss of life and stands firmly with the bereaved family in this time of grief.
A court of inquiry is being…
पायलट की स्थिति पर आधिकारिक पुष्टि
शुरुआत में इस बात की पुष्टि नहीं हो पा रही थी कि पायलट ने इजेक्शन किया या नहीं। लेकिन अब भारतीय वायुसेना (IAF) की ओर से आधिकारिक बयान में इस बात की पुष्टि कर दी गयी है कि पायलट की इस दुर्घटना में मृत्यु हो गयी है।
प्रदर्शन उड़ान के दौरान अचानक गिरा
वीडियो फुटेज में तेजस को एक मनोवर करते हुए अचानक ऊंचाई खोते और फिर तेज़ी से जमीन की ओर गिरते देखा गया। कुछ ही सेकंड बाद रनवे के पास से धुएँ का गुबार उठता दिखा, जिससे दर्शकों में अफरा-तफरी मच गई।
दो वर्षों में तेजस का दूसरा बड़ा हादसा
यह घटना तेजस विमान के लिए दो साल से कम समय में दूसरा बड़ा क्रैश है। मार्च 2024 में राजस्थान के जैसलमेर में एक तेजस विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ था, जिसमें पायलट ने सुरक्षित इजेक्शन किया था। उससे पहले तेजस ने 2001 से 23 वर्षों तक कोई क्रैश रिकॉर्ड नहीं किया था।
तेजस: भारत का 4.5-जनरेशन मल्टी-रोल फाइटर
तेजस को एयर-डिफेंस, ऑफ़ेंसिव एयर सपोर्ट और क्लोज़-कॉम्बैट मिशन के लिए डिजाइन किया गया है। यह दुनिया के सबसे हल्के और छोटे फाइटर जेट्स में से एक है।
इसका Martin-Baker zero-zero ejection seat विशेष रूप से इस तरह डिजाइन है कि पायलट शून्य ऊंचाई और शून्य गति पर भी इजेक्ट कर सके।
भारत के लड़ाकू बेड़े के आधुनिकीकरण में अहम भूमिका
तेजस प्रोग्राम भारत की रक्षा क्षमता को आधुनिक बनाने और विदेशी निर्भरता कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता रहा है।
पहला तेजस स्क्वाड्रन—No. 45 Flying Daggers—वर्ष 2016 में भारतीय वायुसेना में शामिल किया गया था।