भारतीय एजेंटों से बिश्नोई गैंग का नाता, कनाडा के इस अलाप के पीछे क्या है वजह

कनाडा और भारत के रिश्ते इस समय सबसे खराब दौर से गुजर रहे हैं। इन सबके बीच कनाडा पुलिस ने दावा किया है कि लारेंश बिश्नोई का नाता भारत के सरकारी एजेंटों से हैं।

By :  Lalit Rai
Update: 2024-10-15 08:12 GMT

Lawrence Bishnoi Gang News: लॉरेंस बिश्नोई, इस समय गुजरात के साबरमती जेल में बंद है। लेकिन ऐसा कहा जाता है कि वो मनमर्जी से कहीं भी किसी भी स्तर के अपराध को अंजाम दिलाने की कुवत रखता है। बिश्नोई का नाम इस समय दो वजह से चर्चा में है। एनसीपी अजित पवार गुट के नेता बाबा सिद्दीकी की मौत में उसका गैंग खुद शामिल होने का दावा कर रहा है। हालांकि मुंबई पुलिस की तरफ से आधिकारिक तौर पर कुछ भी नहीं कहा गया है। इन सबके बीच कनाडा की पुलिस का कहना है कि बिश्नोई गैंग का संबंध भारत के सरकारी एजेंटों से है और वो विदेशी जमीन पर अपराध को अंजाम दे रहे हैं। 

रॉयल कैनेडियन माउंटेड पुलिस ने सोमवार को दावा किया कि "भारत सरकार के एजेंट दक्षिण एशियाई समुदाय को निशाना बनाने के लिए अपराधियों का इस्तेमाल करते हैं। खास तौर पर बिश्नोई गिरोह का जिक्र करते हुए कहा कि ये गिरोह खास तौर पर खालिस्तानी समर्थकों को निशाना बना रहा है। कमिश्नर माइक डुहेन और उनकी डिप्टी ब्रिगिट गौविन द्वारा लगाए गए आरोप उस विवाद को और बढ़ाने का काम किया है जो पिछले साल ओटावा द्वारा दिल्ली के एजेंटों पर कनाडाई नागरिक और खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप निज्जर की हत्या में शामिल होने का आरोप लगाने के बाद से ही जारी है।

गौविन ने कहा कि भारत सरकार दक्षिण एशियाई समुदाय को निशाना बना रही है। लेकिन वे खास तौर पर कनाडा में खालिस्तानी समर्थक तत्वों को निशाना बना रहे हैं। आरसीएमपी के नजरिए से हमने जो देखा है, वह यह है कि वे संगठित अपराध तत्वों का इस्तेमाल करते हैं "इसका सार्वजनिक रूप से एक अपराध समूह - बिश्नोई गिरोह - द्वारा आरोप लगाया गया है और दावा किया गया है। हमारा मानना ​​है कि यह समूह भारत सरकार के एजेंटों से जुड़ा हुआ है। जब उनसे विशेष रूप से पूछा गया कि क्या भारतीय सरकार के एजेंटों पर हत्या, जबरन वसूली, धमकी और जबरदस्ती" का आरोप लगाया जा रहा है, तो डुहेम ने हां में जवाब दिया। 

बिश्नोई गिरोह तेजी से देश के सबसे खतरनाक आपराधिक संगठनों में से एक बन गया है। इसका कनाडा में भी ठिकाना है, जहां गैंगस्टर गोल्डी बरार रहता है।अपने विशाल नेटवर्क के साथ बिश्नोई गिरोह ने अब तक कई हत्याएं की हैं, जिनमें सबसे हालिया हत्या महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की हुई।भारत में यह गिरोह हत्या और हथियारों की तस्करी में शामिल है, साथ ही पंजाबी गायकों, शराब माफिया और अन्य प्रमुख व्यवसायियों जैसे हाई-प्रोफाइल लोगों से जबरन वसूली करता है। इसकी गतिविधियों को करीब 700 हत्यारों की फौज अंजाम देती है।

लेकिन सवाल यह है कि कनाडा इस तरह के दावे क्यों कर रहा है। जानकार कहते हैं कि जस्टिन ट्रूडो जिस तरह से घरेलू मामलों में फिसड्डी साबित हो रहे हैं। विरोधी दल लगातार निशाना वैसी सूरत में ट्रूडो को मुद्दा चाहिए। अब पिछले चुनाव में कनाडा में करीब सात लाख ७० हजार की आबादी उनके साथ रही। भले ही उनमें खालिस्तानी समर्थक हों। अब वो अपनी पकड़ बनाने के लिए इस मुद्दे को उठाकर राष्ट्रीय गौरव से जोड़ रहे हैं ताकि उन्हें फायदा मिल सके। 

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