स्कूलों की कैंटीन में बोर्ड पर लिखना होगा खाने में कितना है तेल

CBSE ने सर्कुलर जारी करते हुए ये निर्देश दिया है कि स्कूल कैंटीन में बोर्ड लगाकर उस पर ये लिखना होगा कि किस व्यंजन में कितना तेल मिलाया गया है.;

Update: 2025-07-16 10:28 GMT

CBSE Circular For Schools : देश भर के स्कूलों से छात्रों और कर्मचारियों के बीच बढ़ती मोटापे की समस्या से निपटने के लिए कदम उठाने का आग्रह किया गया है। सीबीएसई( सेंट्रल बोर्ड ऑफ़ सेकेंडरी एजुकेशन ) ने हाल ही में सभी स्कूलों को एक सर्कुलर जारी कर 'तेल बोर्ड' (Oil Board) स्थापित करने और स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न उपाय अपनाने का निर्देश दिया है। यह पहल विशेष रूप से बच्चों में तेजी से बढ़ते मोटापे के मामलों को देखते हुए की गई है, जो खराब खान-पान और कम शारीरिक गतिविधियों के कारण बढ़ रहा है।

मोटापे का बढ़ता बोझ: एक चिंताजनक तस्वीर

राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण-5 (NFHS-5, 2019-21) के आंकड़ों के अनुसार, शहरी क्षेत्रों में हर पाँच में से एक से अधिक वयस्क अधिक वज़न या मोटापे से ग्रस्त है। द लैंसेट GBD 2021 मोटापा पूर्वानुमान अध्ययन के 2025 में प्रकाशित अनुमानों के अनुसार, भारत में अधिक वज़न और मोटे वयस्कों की संख्या 2021 में 18 करोड़ से बढ़कर 2050 तक 44.9 करोड़ होने की संभावना है, जिससे भारत दुनिया का दूसरा सबसे अधिक मोटापे वाला देश बन जाएगा। इस गंभीर स्थिति को देखते हुए, स्कूलों को इस लड़ाई में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए कहा गया है।

स्कूलों के लिए निर्देश: स्वस्थ आदतों को बढ़ावा देना

आदेश में स्कूलों को निम्नलिखित महत्वपूर्ण कदम उठाने का निर्देश दिया गया है:

'तेल बोर्ड' की स्थापना: हानिकारक उपभोग के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए स्कूल के सामान्य क्षेत्रों जैसे कैफेटेरिया, लॉबी, बैठक कक्ष और अन्य सार्वजनिक स्थानों पर डिजिटल या स्थिर पोस्टर के रूप में 'तेल बोर्ड' (Oil Board) प्रदर्शित किए जाएंगे। ये बोर्ड स्वास्थ्य संबंधी महत्वपूर्ण संदेशों को उजागर करेंगे।

स्वास्थ्य संबंधी संदेशों का प्रसार: मोटापे से लड़ने के बारे में डेली रिमाइंडर को सुदृढ़ करने के लिए सभी आधिकारिक स्टेशनरी (लेटरहेड, लिफाफे, नोटपैड, फ़ोल्डर, आदि) और प्रकाशनों पर स्वास्थ्य संबंधी संदेश छापे जाएंगे।

स्वस्थ भोजन और शारीरिक गतिविधि को बढ़ावा देना: स्कूलों को पौष्टिक, स्वास्थ्यवर्धक भोजन विकल्पों (अधिक फल, सब्जियां और कम वसा वाले विकल्प) की उपलब्धता सुनिश्चित करनी होगी। साथ ही, शर्करा युक्त पेय और उच्च वसा वाले स्नैक्स की उपलब्धता को सीमित करने पर जोर दिया गया है। शारीरिक गतिविधि को बढ़ावा देने के लिए सीढ़ियों के उपयोग को प्रोत्साहित करना, छोटे व्यायाम अवकाश का आयोजन करना, और पैदल चलने के मार्गों की सुविधा प्रदान करना जैसे उपाय किए जाएंगे।

छात्रों की भागीदारी: स्कूलों को अनुभवात्मक शिक्षण के एक भाग के रूप में छात्रों को ऐसे बोर्ड तैयार करने के लिए प्रोत्साहित करने का सुझाव दिया गया है। यह छात्रों को इस पहल से जोड़ने और उनमें जागरूकता बढ़ाने में मदद करेगा।

संसाधन और समर्थन: स्कूलों को सूचित किया गया है कि पोस्टर, वीडियो सहित प्रासंगिक IEC (सूचना, शिक्षा और संचार) सामग्री भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI) के आधिकारिक YouTube चैनल पर उपलब्ध है। विस्तृत जानकारी के लिए स्कूल FSSAI से iec@fssai.gov.in पर संपर्क कर सकते हैं।

यह पहल बच्चों के स्वास्थ्य और कल्याण की रक्षा करते हुए एक स्वस्थ स्कूल वातावरण को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। स्कूलों से अनुरोध किया गया है कि वे इन निर्देशों के संबंध में आवश्यक कार्रवाई करें।


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