बरेली हिंसा : कैसे लिखी गई साजिश की पटकथा? तौकीर रज़ा की गिरफ्तारी के बाद पुलिस का खुलासा
क्या सुनियोजित थी बरेली में हिंसा? मौलाना तौक़ीर रज़ा को प्रशासन ने कार्यक्रम न करने की नसीहत थी। उसके बारे में कई बार प्रशासन के बातचीत के बावजूद मौलाना तौक़ीर रज़ा ने लोगों को इकट्ठा होने के लिए कहा।
उत्तर प्रदेश के बरेली में शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद ‘आई लव मोहम्मद’ पोस्टर विवाद को लेकर हुई हिंसा के मामले में पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए इत्तेहाद-ए-मिल्लत काउंसिल (आईएमसी) के प्रमुख मौलाना तौकीर रज़ा समेत 8 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। वहीं 39 लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।इस घटना में बरेली के अलग-अलग थानों में कुल 10 एफआईआर दर्ज की गई है।
बरेली हिंसा की शुरुआती जांच और पूछताछ में साज़िश का खुलासा हुआ है।बरेली पुलिस ने आज कहा कि मौलाना तौकीर रज़ा और उनके लोगों से लगातार बीएनएस की धारा 163 के तहत कार्यक्रम की अनुमति न होने की बात की गई थी।लेकिन आख़िरी समय पर मौलाना मुकर जाने से स्थिति बिगड़ गई।जिले के एसएसपी अनुराग आर्य और जिलाधिकारी अविनाश सिंह ने आज संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मीडिया को अब तक की कार्रवाई की जानकारी दी।मौलाना तौक़ीर रज़ा समेत आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया है जबकि 39 को हिरासत में लेकर पूछताछ जारी है।सुरक्षा कारणों से मौलाना तौकीर रज़ा को सीतापुर जेल भेजा जा रहा है।
सुनियोजित साज़िश के रहता हुआ उपद्रव
बरेली हिंसा की शुरुआती जाँच में उपद्रव के पीछे सुनियोजित साज़िश की बात सामने आई है।बरेली में हिंसा की पूरी टाइम लाइन और घटनाक्रम के बारे में एसएसपी अनुराग आर्य ने बताया कि यह हिंसा कोई आकस्मिक घटना नहीं बल्कि सात दिनों से चली आ रही सुनियोजित साजिश का हिस्सा थी। एसएसपी ने जानकारी देते हुए कहा, ‘प्रशासन ने नमाज से दो दिन पहले ही धार्मिक नेताओं से संपर्क किया था। जुमे की नमाज जिले के अधिकांश हिस्सों में शांतिपूर्ण रही।लेकिन कोतवाली क्षेत्र में शरारती तत्वों ने पथराव और तोड़फोड़ की कोशिश की। ये लोग इस्लामिया कॉलेज की तरफ़ बढ़ने लगे।पुलिस द्वारा बहुत संयमित तरीके से उनको रोकने की कोशिश की गई।लेकिन भीड़ ने बैरीकेडिंग तोड़कर पुलिस बल के साथ दुर्व्यवहार किया।उसके बाद उन लोगों ने पुलिस पर पथराव किया।
मौलाना तौक़ीर रज़ा ने लोगों को उकसाया
बरेली के एसएसपी और डीएम ने बताया कि सात दिन से बाकायदा इसको लेकर बातचीत हो रही थी। प्रशासन ने साफ़ कहा था कि ऐसे किसी कार्यक्रम की अनुमति नहीं है।डीएम अविनाश सिंह ने बताया कि मौलाना तौकीर रजा ने पहले इस्लामिया मैदान में कार्यक्रम का ऐलान किया, जो बाद में निरस्त कर दिया गया। फिर भी, उन्होंने वीडियो संदेश जारी कर लोगों को जुमे की नमाज के बाद सड़कों पर उतरने के लिए उकसाया। डीएम ने कहा, ‘हमारी पिछली बैठक में नदीम और नफीज ने साइन किया पत्र देकर आश्वासन दिया कि कोई प्रदर्शन नहीं होगा। लेकिन अगली सुबह मौलाना तौकीर ने वीडियो जारी कर कहा कि सब फर्जी है और वे अपनी योजना पर अडिग रहेंगे।’
एसएसपी आर्य ने आगे खुलासा किया कि हिंसा वाली जगहों से पुलिस ने भारी मात्रा में हथियार बरामद किए हैं। इनमें पेट्रोल से भरी कांच की बोतलें, 315 बोर और 312 बोर के खाली खोखे, जिंदा कारतूस, तमंचे, ब्लेड और चाकू शामिल हैं। उन्होंने कहा कि ये सामान साफ बताता है कि यह भड़काने की साजिश थी।एसएसपी अनुराग आर्य ने बताया कि यह देखना ज़रूरी है कि जो लोग वाहन मौजूद थे उनके पीछे कौन था जो उनको उकसा रहा था।
मौलाना तौकीर रज़ा के अलावा सरफराज उर्फ सलीम, मनीफुद्दीन पुत्र जरीफुद्दीन, अजीम अहमद पुत्र नसीम अहमद, मोहम्मद शरीफ पुत्र मोहम्मद अहमद, मोहम्मद आमिर पुत्र मोहम्मद जायद, रिहान पुत्र राजू और मोहम्मद सरफराज पुत्र शमीम को गिरफ्तार किया गया है।इसके अलावा 39 अन्य लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।एसएसपी ने बताया कि सीसीटीवी फुटेज, मैनुअल और तकनीकी सर्विलांस से सभी की पहचान की गई है। लगभग 2000 पत्थरबाजों के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज किया गया है।
सीएम योगी ने सुबह दी थी चेतावनी
इस बीच सुबह बरेली हिंसा पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सख्त रुख अपनाते हुए कहा था कि बरेली में एक मौलाना भूल गया था कि किसका शासन है। हम जाम और कर्फ्यू नहीं लगने देंगे और ऐसा सबक सिखा देंगे कि तुम्हारी पीढ़ियां भी याद रखेंगी। कुछ लोग आदत से मजबूर होते हैं, इसलिए उनकी डेंटिंग-पेंटिंग जरूरी है।’ फ़िलहाल बरेली में 48 घंटे के लिए इंटरनेट सेवाओं को बाधित किया गया है।पुलिस आगे की जाँच में जुटी है।