UPA का राज 'अमावस्या' था, मोदी राज 'पूर्णमासी' की तरह- नड्डा
Monsoon Session: मानसून सत्र में ऑपरेशन सिंदूर पर राज्यसभा में आज चर्चा होगी। सदन की हर कार्यवाही पर अपडेट के लिए बने रहिए द फेडरल देश के साथ।;
Monsoon Session: मानसून सत्र में ऑपरेशन सिंदूर पर राज्यसभा में आज चर्चा होगी। सदन की हर कार्यवाही पर अपडेट के लिए बने रहिए द फेडरल देश के साथ।
राज्यसभा में नेता सदन जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि यूपीए के मुकाबले एनडीए के राज में आतंकी हमलों में 80 फीसदी की गिरावट आई। नड्डा ने यूपीए के राज को 'अमावस्या' और मोदी सरकार के राज को 'पूर्णमासी' बताया।
राज्यसभा सांसद मनोज झा ने संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की टिप्पणी पर तीखा पलटवार किया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने लोकसभा में यह कहकर कि मैं भारत का पक्ष रखने आया हूं दरअसल संसद की गरिमा को कम करके देखा। झा ने कहा, “अरे, यह संसद ही तो भारत है पक्ष और विपक्ष दोनों भारत हैं। अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत का पक्ष रखना उचित है, लेकिन संसद में तो सरकार को अपनी नीति और जवाबदेही प्रस्तुत करनी चाहिए। सरकार को देश का पर्याय मत बनाइए।
मनोज झा ने इस दौरान जवाहरलाल नेहरू पर बार-बार हो रहे हमलों पर भी चुटकी ली। उन्होंने कहा, नेहरू इस सरकार के लिए जैसे कोई लाइफ वेस्ट बन गए हैं। हर बार नेहरू आ जाते हैं। मैंने पहले भी कहा था बेहतर है मुकदमा कर दीजिए, जवाहरलाल नेहरू हाज़िर हों! अगर नेहरू आज भी आपको असहज कर रहे हैं, तो मान लीजिए उस व्यक्ति में कुछ तो बात रही होगी।”
राज्यसभा में आरजेडी सांसद मनोज झा ने कहा कि पहलगाम आतंकी हमले के बाद जिस तरह की प्रतिक्रिया कश्मीर में देखने को मिली, वह अभूतपूर्व (unprecedented) थी।उन्होंने कहा, “कश्मीर के लोगों ने शहीदों को कंधा दिया, आंसू बहाए, अपने शटर बंद कर श्रद्धांजलि दी। यह भावनात्मक एकता का प्रमाण है। कश्मीर सिर्फ एक ज़मीन का टुकड़ा नहीं, वहां लोग बसते हैं जिन्होंने कुर्बानियां दी हैं। इसलिए कश्मीर को पूर्ण राज्य का दर्जा मिलना चाहिए।”
मनोज झा ने एनएसए अजीत डोभाल के बयान पर सवाल उठाया, “अगर एनएसए कहते हैं कि हमारा एक कांच का टुकड़ा नहीं टूटा, तो क्या पुंछ-राजौरी के लोग कांच से भी गए गुज़रे हैं?”उन्होंने विदेश मंत्री एस. जयशंकर की भी चर्चा की, “जब वो ब्यूरोक्रेट थे, तब मैं उनका बड़ा प्रशंसक था। लेकिन आज उनकी विदेश नीति में चौधराहट ज़्यादा दिखती है। अमेरिकी राष्ट्रपति में मुझे चाचा चौधरी के सभी निगेटिव गुण दिखाई देते हैं।”
केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार (29 जुलाई) को लोकसभा में सच बोला। वह अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा बार-बार भारत-पाकिस्तान युद्ध रोकने के दावे के मुद्दे का जिक्र कर रहे थे। ट्रंप ने दावा किया था कि उन्होंने दोनों देशों के बीच युद्धविराम करवाया था। हालाँकि, प्रधानमंत्री मोदी ने किसी अन्य देश के हस्तक्षेप से इनकार किया। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भी यही कहा। बघेल ने कहा, "भारत के प्रधानमंत्री सदन के अंदर जो भी कहेंगे, वह सच है। प्रधानमंत्री ने कल स्पष्ट किया था, विदेश मंत्री ने उससे पहले स्पष्ट किया था कि युद्धविराम के लिए किसी का कोई दबाव नहीं था और यह किसी के निर्देश पर नहीं हुआ..."
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने स्पष्ट किया कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान के साथ युद्धविराम कराने में किसी तीसरे पक्ष का हस्तक्षेप नहीं था। उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि ऑपरेशन को रोकने का व्यापार से कोई संबंध नहीं था। जयशंकर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच 22 अप्रैल से 16 जून के बीच कोई फ़ोन कॉल नहीं हुई।
विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि सिंधु जल संधि कई मायनों में एक अनूठा समझौता है। मैं दुनिया में ऐसे किसी भी समझौते के बारे में नहीं सोच सकता जहाँ किसी देश ने अपनी प्रमुख नदियों को उस नदी पर अधिकार के बिना दूसरे देश में बहने दिया हो। इसलिए यह एक असाधारण समझौता था और, जब हमने इसे स्थगित कर दिया है, तो इस घटना के इतिहास को याद करना महत्वपूर्ण है। कल मैंने लोगों को सुना, कुछ लोग इतिहास से असहज हैं। वे चाहते हैं कि ऐतिहासिक चीजों को भुला दिया जाए। शायद यह उन्हें शोभा नहीं देता, वे केवल कुछ चीजों को याद रखना पसंद करते हैं।
सिंधु जल संधि पर विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि सिंधु जल संधि तब तक स्थगित रहेगी जब तक पाकिस्तान आतंकवाद को समर्थन देना पूरी तरह बंद नहीं कर देता। खून और पानी एक साथ नहीं बहेंगे।
लोकसभा में कल दिए गए पीएम मोदी के भाषण पर कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने कहा, कल 28वीं बार अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है कि उन्होंने ही युद्धविराम को संभव बनाया है। पीएम मोदी संसद में डोनाल्ड ट्रंप का नाम लेने से क्यों डर रहे हैं? वह ऐसा करने को तैयार क्यों नहीं हैं? पीएम मोदी का यह कर्तव्य है कि वह राज्यसभा में यह बयान दें कि डोनाल्ड ट्रंप झूठ बोल रहे हैं।
कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत और पाकिस्तान के बीच युद्धविराम कराने के बार-बार किए गए दावों का स्पष्ट खंडन करने से जानबूझकर बचने का आरोप लगाया। जयराम रमेश ने आरोप लगाया कि मोदी बेहद कमज़ोर स्थिति में हैं और सार्वजनिक रूप से ट्रंप का खंडन करने को तैयार नहीं हैं, जबकि पवन खेड़ा ने ट्रंप की तुलना एक साँप से की जो प्रधानमंत्री मोदी के चारों ओर लिपटा हुआ है और उनके कान में कड़वी सच्चाई फुफकार रहा है।